नई दिल्ली:नए संसद भवन के उद्घाटन पर मायावती का फैसला!क्या इन वजहों से ही BJP के साथ जाने के लिए हुई मजबूर!

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AIN NEWS 1: नए संसद भवन के उद्घाटन कार्यक्रम का कांग्रेस समेत कुल 20 दलों ने इस समय बहिष्कार किया है. इसमें समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी और अन्य कई दल भी शामिल हैं. हालांकि बहुजन समाज पार्टी ने विपक्ष से इस पूरे मामले में ही दूरी बना ली है. पूर्व सीएम और बसपा सुप्रीमो मायावती ने गुरुवार को एक ट्वीट कर कहा- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा नए संसद का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर इसका बहिष्कार करना अनुचित है.हालांकि राजनीतिक हलकों में मायावती के इस समर्थन को उनकी मजबूरी भी माना जा रहा है. राजनीतिक जानकारों का साफ़ साफ़ कहना है कि बसपा के कुछ सांसद ऐसे हैं जो अभी से ही भारतीय जनता पार्टी के साथ जाने की फिराक में पूरी तरह से लगे हुए हैं. ऐसे में मायावती, अपने सांसदों को कोई और मौका नहीं देना चाहती कि वे पार्टी को छोड़कर जाएं.बता दें कि बसपा के सांसद मलूक नागर ने बीते दिनों कहा भी था कि उन्हें इस उद्घाटन से कोई भी दिक्कत नहीं है. उन्होंने मिडिया से कहा था- ‘मैं संसद भवन के उद्घाटन का विरोध नहीं करता हूं.’

जान ले मलूक नागर ने कहा था- यह एक ऐतिहासिक क्षण

नए संसद भवन के उद्घाटन पर बसपा सांसद मलूक नागर ने साफ़ कहा था कि यह ऐतिहासिक क्षण है. इसका विरोध करना पूरी तरह से गलत है. विपक्ष यदि सही बातों और मुद्दों का विरोध नहीं करेगा तो वह कमजोर हो जाएगा. उन्होंने कहा कि हमारे देश में बड़ी संसद बननी ही चाहिए थी, जो अब पूरी तरह से बन गई है, ये तो अच्छा है.बसपा सांसद ने आगे कहा था कि ये ऐतिहासिक क्षण है, इस पर भी अगर हम राजनीति करेंगे तो देश को आख़िर कैसे मजबूत करेंगे. राष्ट्रपति को आमंत्रण न किए जाने के सवाल पर मलूक ने कहा था जो लोग केवल राष्ट्रपति का नाम लेकर ही विरोध कर रहे हैं, ये सब तब कहां थे जब उनके खिलाफ ही चुनाव लड़ाया जा रहा था.इसके अलावा जौनपुर से बसपा के सांसद श्याम सिंह यादव भी कई मौकों पर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं के साथ मे ही दिख चुके हैं. 2022 के विधानसभा चुनाव के बाद श्याम सिंह यादव कई मौकों पर बीजेपी की काफ़ी प्रशंसा भी कर चुके हैं.

जान ले मायावती ने क्या किया था ट्वीट

https://twitter.com/Mayawati/status/1661663123974283265?t=1MZIValBpiMDk_IqVLVVDg&s=19

मायावती ने अपने ट्विट में कहा- केन्द्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा ही दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका पूरा समर्थन किया है तथा 28 मई को संसद के नये भवन के उद्घाटन को भी पार्टी इसी संदर्भ में देखते हुए इसका पूरा स्वागत करती है.बसपा नेता ने कहा- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा नए संसद का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर इसका बहिष्कार करना अनुचित. सरकार ने इसको बनाया है इसलिए उसके उद्घाटन का उसे पूरा हक है. इसको आदिवासी महिला सम्मान से जोड़ना भी पूरी तरह से अनुचित. यह तो उन्हें निर्विरोध न चुनकर उनके विरुद्ध मे अपना उम्मीदवार खड़ा करते वक्त ही सोचना चाहिए था.पूर्व सीएम ने कहा- देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम अर्थात नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे भी प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनायें. किन्तु पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी.

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