AIN NEWS 1 कलबुर्गी, कर्नाटका: कांग्रेस अध्यक्ष मलिकार्जुन खड़गे ने केंद्र सरकार द्वारा राज्यों को करों के वितरण में हो रहे अन्याय पर गंभीर चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि दक्षिण भारत के कई राज्य अपनी हिस्सेदारी से वंचित हैं। खड़गे ने यह बात कलबुर्गी में एक कार्यक्रम के दौरान कही, जहां उन्होंने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के समर्थन का उल्लेख करते हुए इस मुद्दे पर चर्चा की।
खड़गे ने कहा, “हमारी सरकार इस मुद्दे को लेकर गंभीर है। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने भी इस विषय पर अपनी बातें साझा की हैं। हम इस मुद्दे को संसद में उठाएंगे।” उन्होंने केंद्र से मांग की कि राज्यों को उनके अधिकारों के अनुसार उचित कर वितरण किया जाए।
खड़गे का यह बयान उन हालातों के बीच आया है जब कई दक्षिणी राज्य, विशेषकर कर्नाटका, करों के वितरण में अपने हक से वंचित महसूस कर रहे हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि कांग्रेस पार्टी इस मुद्दे को गंभीरता से ले रही है और इसे सुलझाने के लिए हर संभव प्रयास करेगी।
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने पहले भी इस विषय पर अपनी चिंताएं व्यक्त की थीं। उनका कहना था कि केंद्र सरकार को सभी राज्यों के हितों का ध्यान रखना चाहिए। “कर्नाटका जैसे राज्यों की आर्थिक स्थिति को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता,” उन्होंने कहा।
कांग्रेस अध्यक्ष ने केंद्र की नीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि इससे केवल कुछ राज्यों को ही फायदा हो रहा है, जबकि अन्य राज्यों को उनका हक नहीं मिल रहा। यह स्थिति लोकतंत्र के लिए ठीक नहीं है। उन्होंने कहा, “हम सभी राज्यों के साथ खड़े हैं और उनके हक के लिए लड़ाई लड़ेंगे।”
इस मुद्दे पर खड़गे ने कहा कि कांग्रेस पार्टी हमेशा से संघीय ढांचे की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध रही है। उन्होंने केंद्र सरकार से आग्रह किया कि वह सभी राज्यों को समान अधिकार दे और उन्हें उनके करों का उचित वितरण करे।
कांग्रेस पार्टी ने इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए रणनीति बनाई है कि वे इसे संसद में उठाएंगे, ताकि सभी सदस्यों का ध्यान इस समस्या की ओर आकर्षित किया जा सके। खड़गे ने यह भी कहा कि पार्टी इस मामले में जन जागरूकता फैलाने के लिए विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करेगी।
इस तरह से कांग्रेस पार्टी ने यह स्पष्ट किया है कि वे केंद्र सरकार के खिलाफ खड़े हैं और दक्षिण भारत के राज्यों के हितों की रक्षा के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।
निष्कर्ष: कांग्रेस अध्यक्ष मलिकार्जुन खड़गे का यह बयान दक्षिण भारत के राज्यों की करों के वितरण के मुद्दे पर उठे अन्याय को उजागर करता है। इससे यह स्पष्ट होता है कि कांग्रेस पार्टी इस मुद्दे को प्राथमिकता देती है और इसके समाधान के लिए संसद में आवाज उठाने की तैयारी कर रही है।