AIN NEWS 1 | लखनऊ-आगरा एक्सप्रेसवे पर हुए हादसे में जान गंवाने वाले सभी 18 लोगों की पहचान हो गई है। हादसे के बाद चारों ओर से बस बचाओ-बचाओ की आवाजें सुनाई दे रही थीं।
घटना का विवरण:
गंजमुरादाबाद एक्सप्रेसवे पर हुआ यह हादसा यात्रियों के लिए जीवन भर का गम बन गया। किसी ने अपने प्रियजनों को खो दिया, तो किसी को जीवन भर के लिए अपाहिज होना पड़ा। हादसे के बाद चारों ओर से बस बचाओ-बचाओ की आवाजें गूंज रही थीं। पुलिस और वहां मौजूद लोग पीड़ितों को सांत्वना दे रहे थे।
घायलों की कहानी:
- रजनीश कुमार:
बिहार के जहांगीरपुर निवासी रजनीश कुमार दिल्ली में मजदूरी करने जा रहे थे। हादसे में उन्होंने अपना दाहिना हाथ कंधे से और दाहिना पैर हमेशा के लिए खो दिया। बायां हाथ भी टूट गया। जिला अस्पताल में वह कराहते हुए बार-बार यही कह रहे थे कि अब उनके परिवार की देखभाल कैसे होगी, क्योंकि वह परिवार का इकलौता सहारा हैं। लोग उन्हें सांत्वना देते रहे और अंत में उन्हें रेफर कर दिया गया। - शबाना और परिवार:
दिल्ली में घरों में काम कर परिवार चलाने वाली शबाना अपनी बेटी नगमा और बहू चांदनी के साथ बिहार से दिल्ली जा रही थीं। उनके पति की पहले ही मृत्यु हो चुकी है। उनके साथ नौ माह की पोती सनाया भी थी। हादसे में बच्ची की मां चांदनी के सिर में गंभीर चोट आई है, जबकि शबाना और नगमा भी घायल हैं। - लालबाबू दास और परिवार:
बिहार के शिवहर के हिरौता दम्मा निवासी लालबाबू दास, उनका बेटा रामप्रवेश, और उनके दो भाई साहिल और दिलशाद भी घायल हुए हैं। यह सभी दिल्ली में काम करते हैं। लालबाबू ने बताया कि वे काफी समय से बिहार अपने घर नहीं गए थे, इसलिए बेटे के साथ घूमने आए थे।
एक ही परिवार के सात लोगों की मौत:
हादसे में 18 यात्रियों की मौत हुई, जिसमें एक ही परिवार के सात लोग शामिल हैं। बिहार के जिला फनेहरा वार्ड नंबर 11 के मो. असफाक आलम (45), उनकी पत्नी मुनचुन खातून उर्फ रुबी (38), बेटी गुलनाज (13), बेटा सुहैल (5), अशफाक के भाई मो. इलियाश (35) और उनकी पत्नी शमशुन्निशा उर्फ सोनी (30) की मौत हो गई। अशफाक के दो बेटे दिलशाद और साहिल घायल हैं।
पोस्टमार्टम हाउस में:
दिलशाद ने बताया कि वे परिवार के साथ मेरठ में रहते हैं। दिल्ली पहुंचने के बाद मेरठ जाना था, जहां उनके पिता की कपड़ों की सिलाई की दुकान और सैलून का काम है। पूरा परिवार उसी में काम करता था। एक सप्ताह पहले वे परिवार के साथ गांव घूमने गए थे।
यह हादसा न केवल प्रभावित परिवारों के लिए बल्कि पूरे समाज के लिए एक दुखद घटना है। पीड़ित परिवारों को ढांढ़स बंधाने के लिए हर संभव सहायता की आवश्यकता है।
Very serious incident and the government should immediately take care of the injured persons and declare adequate compensation.