आई फ्लू के कारण बच्चों के आखों को हो सकता है नुकसान, जानिए क्या है इसके बचाव और लक्षण।

0
450

आई फ्लू के कारण बच्चों के आखों को हो सकता है नुकसान, जानिए क्या है इसके बचाव और लक्षण।

बारिश के मौसम मे लोगो को गर्मी से राहत तो मिलती है लेकिन बारिश के चक्कर में काफी बीमारिया भी उत्पन हो ने लगता । बारिश के कारण डेंगू के लक्षण भी लोगो के अन्दर दिख रहा है और मंगलवार को डेंगू के कारण 21 वर्षीय की मौत हो गई

वही आग बात करे आई फ्लू  कि तो यह भी वायरस बारिश के कारण भेल रहा है  इन दिनों लोग बाढ़ के बाद नई मुसीबत का सामना कर रहे हैं. बाढ़ के बाद अब लोगों को आई फ्लू की मार को झेलनी पड़ रही है. आई फ्लू  का मतबल आंख की बीमारी बच्चे भी इससे अछूते नहीं हैं. इसीलिए बच्चों को इससे बचाने के लिए सावधानियां बरतनी बेहद जरूरी है.

 क्या है आई फ्लू की बीमारी

आई फ्लू को कंजंक्टिवाइटिस या पिंक आई के नाम से भी जाना जाता है. इसके अधिकतर मामले सर्दी खांसी वाले वायरस के कारण से बढ़ते हैं. ये संक्रमण आंखों के व्हाइट पार्ट में होता है खासतौर पर यह मानसून के मौसम में तेजी से फैलता है. इसकी वजह से बच्चों की आंखों में इंफेक्शन की समस्या पैदा होती है, जिससे आंखों में लालपन, सूजन और गंभीर दर्द भी बढ़ जाता है. डॅाक्टरों के मुताबिक यह बहुत गंभीर नहीं होता, लेकिन इस दौरान आंखों की साफ सफाई के ऊपर खास प्रकार से ध्यान रखने की जरूरत होती है.

बता दे कि अगर आपके बच्चे की आखें लाल दिख रही हैं या फिर आखों मे कीचड़ दिख रहा है तो आप सावधान हो जाइये . ये सारी लक्षण आई फ्लू का ही। आपको बता दे कि विशेषज्ञों के मुताबिक इस साल आई फ्लू से काफी ज्यादा लोग सक्रांमक हुऐ है और ये वायरस बच्चो में फैलने के सबसे ज्यादा लक्षण होते है और  इसी  वजह से बच्चों की आंखों में इंफेक्शन की समस्या पैदा होती है, जिससे आंखों में लालपन, सूजन और गंभीर दर्द भी बढ़ जाता है. डॅाक्टरों के मुताबिक यह बहुत गंभीर नहीं होता, लेकिन इस दौरान आंखों की साफ सफाई के ऊपर खास प्रकार से ध्यान रखने की जरूरत होती है.

 आई फ्लो के लक्षण क्या है

वैसे तो आई फ्लो की समस्या हमेशा होती है लेकिन आई फ्लू की समस्या बारिश के मौसम में सबसे ज्यादा फैलती है। इस मौसम में वातावरण में संक्रमण फैलने की वजह से लोग आई फ्लू का शिकार हो जाते हैं। और बारिश के मौसम में आखों में गंदगी, धूल-मिट्टी अदि की वजह से होने वाली एलर्जी की वजह से होती है। इस बीमारी में आंखों के सफेद हिस्से में मौजूद लेयर कंजंक्टिवा में सूजन होती है। बरसात के मौसम में नमी और बैक्टीरिया और वायरस बढ़ जाते हैं और इसकी वजह से आंखों में एलर्जी और इन्फेक्शन हो सकता है। इसके अलावा अगर आप पहले से आई फ्लू से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आते हैं, तो इससे भी आपको आई फ्लू होने का खतरा रहता है। इस बचने के लिए आपको आई फ्लू से संक्रमित व्यक्ति से सीधे संपर्क में आने से बचना चाहिए और आंखों को बार-बार छूने से बचना चाहिए।

आई फ्लू के सक्रंमण व्यक्ति हमेशा अपने आखओं को रगड़ते हैं और फिर उनकी आखें लाल हो जाती है, लेकिन ये लाल पन कुछ में खत्म हो जाती है। फिर अगले दिन से आखों में कीचड़ भी आने लगता है. आखें  धीरे- धीरे सुजने लगती है और फिर कुछ समय के बाद चेहरा भी सुजने लगता है

क्या हे मुख्य लक्षण

  • आंखों में जलन
  • आंखे लाल होना,
  • आखों से पानी
 आई फ्लू के क्या है बचाव
  • आई फ्लू से बचाने के लिए उन्हें बार बार आंखों को छूने से मना करें. यदि वो स्कूल से आएं हैं और गंदे हाथों से आंखों को छू रहे हैं तो ये नुकसानदायक हो सकता है. हाथों पर जर्म्स और बैक्टीरिया आसानी से संपर्क में आ जाते हैं. ऐसे में गंदे हाथों से आंखों को छूने पर बच्चा संक्रमित हो सकता है.
  • आई फ्लू के दौरान बच्चे के खानपान का विशेष ध्यान रखना चाहिए. बच्चे को संतुलित आहार दें. हरी सब्जियां,संतरे जैसे हेल्दी फूड को डाइट में शामिल करें.
  • गर आपके घर में किसी को आई फ्लू हो गया है तो बच्चे को संक्रमित व्यक्ति से दूर रखने की कोशिश करें. संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से बच्चे को नुकसान हो सकता है. इसके साथ ही बच्चे को ये भी समझाएं कि संक्रमित व्यक्ति के सामान को न छूएं.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here