AIN NEWS 1 | सीएआर-टी सेल थेरेपी कैंसर के इलाज के लिए एक क्रांतिकारी तकनीक है, जिसे भारत में विकसित किया गया है। यह थेरेपी पहली बार कैंसर के मरीज़ को ठीक करने में सफल रही है, जो कि एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
इस थेरेपी में क्या होता है?
- मरीज़ के शरीर से टी-सेल्स (श्वेत रक्त कोशिकाओं का एक प्रकार) निकाले जाते हैं।
- इन टी-सेल्स को जेनेटिकली मॉडिफाई किया जाता है ताकि वे कैंसर कोशिकाओं को पहचान सकें और उन्हें नष्ट कर सकें।
- मॉडिफाई किए गए टी-सेल्स को वापस मरीज़ के शरीर में डाला जाता है।
यह थेरेपी किन कैंसरों के लिए प्रभावी है?
सीएआर-टी सेल थेरेपी अभी तक केवल कुछ प्रकार के कैंसर के लिए ही प्रभावी है, जिनमें शामिल हैं:
- तीव्र लिम्फोब्लास्टिक ल्यूकेमिया (ALL)
- बर्किट लिम्फोमा
- तीव्र मायलोयॉयड ल्यूकेमिया (AML)
- क्रोनिक लिम्फोसाइटिक ल्यूकेमिया (CLL)
सीएआर-टी सेल थेरेपी के क्या फायदे हैं?
- यह थेरेपी उन मरीज़ों के लिए फायदेमंद है जिनका इलाज अन्य तरीकों से नहीं हो पाया है।
- यह थेरेपी लक्षित होती है, जिसका अर्थ है कि यह केवल कैंसर कोशिकाओं को नष्ट करती है और स्वस्थ कोशिकाओं को नुकसान नहीं पहुंचाती है।
- यह थेरेपी लंबे समय तक प्रभावी हो सकती है।
सीएआर-टी सेल थेरेपी के क्या नुकसान हैं?
- यह थेरेपी महंगी है।
- इस थेरेपी के कुछ दुष्प्रभाव हो सकते हैं, जिनमें शामिल हैं: बुखार, थकान, मतली, उल्टी, सिरदर्द, और सांस लेने में तकलीफ।
भारत में सीएआर-टी सेल थेरेपी की उपलब्धता:
सीएआर-टी सेल थेरेपी भारत में अभी भी शुरुआती चरण में है। यह थेरेपी कुछ चुनिंदा अस्पतालों में ही उपलब्ध है।
यह थेरेपी कैंसर के इलाज में एक नई उम्मीद है। यह उन मरीज़ों के लिए एक महत्वपूर्ण विकल्प है जिनका इलाज अन्य तरीकों से नहीं हो पाया है।