भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने अपनी मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी (MPC) बैठक में रेपो रेट( Repo Rate ) में 0.25% की कटौती की है, जिससे यह 6.50% से घटकर 6.25% हो गया है। यह पांच वर्षों में पहली बार है जब RBI ने ब्याज दरों में कमी की है। इस फैसले के बाद बैंकों और हाउसिंग फाइनेंस कंपनियों के होम लोन, कार लोन, एजुकेशन लोन और पर्सनल लोन की ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद है।
होम लोन EMI पर क्या होगा असर?
रेपो रेट में कटौती का सीधा फायदा उन लोगों को मिलेगा जिन्होंने होम लोन लिया हुआ है या लेने की योजना बना रहे हैं। ब्याज दर कम होने से उनकी मासिक EMI में कमी आएगी, जिससे उन्हें वित्तीय राहत मिलेगी।
25 लाख रुपये के होम लोन पर EMI में बचत
यदि आपने 25 लाख रुपये का होम लोन 8.75% ब्याज दर पर लिया था, तो आपकी मौजूदा EMI 22,093 रुपये थी। अब ब्याज दर घटकर 8.50% होने के बाद EMI 21,696 रुपये हो जाएगी। यानी हर महीने 403 रुपये और सालाना 4,836 रुपये की बचत होगी।
50 लाख रुपये के होम लोन पर EMI में कटौती
अगर किसी ने 50 लाख रुपये का होम लोन 9% ब्याज दर पर लिया था, तो उसकी मौजूदा EMI 44,986 रुपये थी। अब ब्याज दर 8.75% होने पर EMI घटकर 44,186 रुपये हो जाएगी। यानी हर महीने 800 रुपये और सालाना 9,600 रुपये की बचत होगी।
1 करोड़ रुपये के होम लोन पर कितनी होगी बचत?
1 करोड़ रुपये के होम लोन पर 8.75% ब्याज दर के हिसाब से EMI 88,371 रुपये थी। अब ब्याज दर 8.50% होने के बाद EMI घटकर 86,782 रुपये हो जाएगी। यानी हर महीने 1,589 रुपये और सालाना 19,068 रुपये की बचत होगी।
आर्थिक गतिविधियों को मिलेगा बढ़ावा
कॉन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि RBI के इस फैसले से व्यापारियों और उपभोक्ताओं के लिए उधारी लेना सस्ता होगा। EMI में कमी से डिस्पोजेबल इनकम बढ़ेगी, जिससे उपभोक्ता खर्च में वृद्धि होगी और बाजार में नगदी (लिक्विडिटी) बढ़ेगी। इससे आर्थिक गतिविधियों को गति मिलेगी और व्यावसायिक निवेश को बढ़ावा मिलेगा।
The RBI rate cut has reduced the repo rate from 6.50% to 6.25%, making home loans, car loans, and personal loans cheaper. This decision impacts home loan EMI calculations, providing significant savings for borrowers. A 25 lakh home loan at 8.75% now has an EMI of ₹21,696, saving ₹403 monthly. A 50 lakh home loan sees a reduction of ₹800 per month, while a 1 crore home loan borrower saves ₹1,589 monthly. Lower interest rates will boost consumer spending, liquidity, and economic growth, benefiting businesses and individuals alike.