Ainnews1.com ग्रेटर नोएडा: नोएडा के बिसरख थाना क्षेत्र में अगर कोई प्लॉट खरीदे जा रहे है तो पहले जान ले, यहां जमीन या फिर प्लाट खरीदने वाले तमाम लोग ठगी का शिकार हो चुके हैं. एनजीटी के आदेश के एक आदेश के अनुसार, इस क्षेत्र में निर्माण कार्य करना पूर्ण रूप से प्रतिबंधित है. इसके बाद भी लोग यहां मकान बना लेते हैं और इसे ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी तोड़ जाती है.दरअसल हिंडन नदी के किनारे की जमीन को डूब क्षेत्र कहा जाता है. इस क्षेत्र में एनजीटी के आदेश के अनुसार, निर्माण कार्य करना पूर्ण रूप से प्रतिबंधित है.
बावजूद इसके लाखों लोग ठगी का शिकार अब तक हो चुके हैं. जीवन भर की जमा पूंजी इकट्ठा कर, गहने बेचकर लोग जमीन खरीदते हैं लोग और ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी का बुलडोजर तोड़ जाता है, हालांकि इसका जवाब किसी के पास नहीं है कि आखिर डूब क्षेत्र में निर्माण हो कैसे जाता है. लोग घर कैसे बनवा ले रहे हैं. यही नहीं, लोगों की रजिस्ट्री कैसे पास हो जा रही है.
काफी लोगों के तोड़े गए हैं घर
AIN NEWS 1 से बात करते हुए श्याम वीर सिंह तोमर ने बताया कि मैंने दो साल पहले लोगो रिश्तेदारों से कर्ज लेकर जमीन ली थी. यहां घर भी बना लिया था, लेकिन एक दिन ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी वाले आ गए और बिना कोई सूचना या नोटिस के घर तोड़कर चले गए. पूछने पर बोले कि यह एरिया डूब क्षेत्र घोषित है ऐसे में यहां घर बनाना बिलकुल गैर कानूनी है. वहीं, राजेश कुमार बताते हैं कि मैं कई बार यहां घर बना चुका हूं और कई बार मेरा घर तोड़ा गया है.
इस मामले में जानिए क्या है ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी का जवाब?
इस पूरे मामले को लेकर ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के एसीईओ दीपचंद का कहना है कि हमने इस पूरे डूब क्षेत्र में कई बोर्ड लगा रखा है. बोर्ड पर साफ-साफ लिखा भी हुआ है कि यहां की जमीन पर किसी भी प्रकार से निर्माण करना अवैध है. यह एनजीटी के आदेश के अनुसार ही यहां पर कार्रवाई करते हैं.