Delhi Riots Shocking Revelation: Hindu Market Almost Turned Into Cemetery
दिल्ली दंगों का खौफनाक सच: कब्रिस्तान बनने से बाल-बाल बचा हिंदुओं का बाजार
दिल्ली दंगों में भजनपुरा बाजार का खौफनाक अनुभव
AIN NEWS 1:23 फरवरी 2020 का दिन दिल्ली के भजनपुरा क्षेत्र के लिए कभी न भूलने वाला दिन था। ये वो दिन था जब नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ हो रहे प्रदर्शन ने हिंसा का रूप ले लिया और हिंदू-बहुल बाजार पर हमला कर दिया गया।
शांति भंग होने की शुरुआत
दिल्ली में CAA के खिलाफ लंबे समय से विरोध प्रदर्शन चल रहे थे। लेकिन उस दिन, प्रदर्शनकारियों की भीड़ अचानक भजनपुरा की ओर बढ़ी। एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया, “भीड़ के कुछ लोग हमारी तरफ दौड़े। उनके हाथों में तलवारें, पेट्रोल और तेजाब से भरी बोतलें थीं। उनके इरादे खतरनाक थे।”
हमला और दुकानदारों की कोशिश
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, जैसे ही भीड़ ने बाजार में घुसने की कोशिश की, दुकानदारों ने अपनी दुकानों के शटर गिरा लिए। उन्होंने बताया, “अगर हमने शटर बंद नहीं किए होते, तो आज भजनपुरा का बाजार कब्रिस्तान बन चुका होता।” हमलावर पूरी तैयारी के साथ आए थे, और उनकी मंशा साफ थी—मार्केट को नष्ट करना।
सोची-समझी साजिश का आरोप
इस हिंसा को एक सोची-समझी साजिश बताया जा रहा है। प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि प्रदर्शन के नाम पर हिंसा की योजना पहले से तैयार थी। हिंसक भीड़ ने मार्केट में हिंदुओं को निशाना बनाया, जिससे सांप्रदायिक तनाव और बढ़ गया।
पुलिस और प्रशासन की भूमिका
घटना के बाद पुलिस और प्रशासन की कार्रवाई पर भी सवाल उठे। लोगों का कहना है कि अगर सुरक्षा के कड़े इंतजाम पहले से होते, तो शायद इस घटना को रोका जा सकता था।
सामूहिक संघर्ष और अस्तित्व की लड़ाई
घटना के समय, भजनपुरा के लोगों ने एकजुटता दिखाते हुए अपनी सुरक्षा की। सभी दुकानदारों और स्थानीय निवासियों ने मिलकर खुद को बचाने की कोशिश की। प्रत्यक्षदर्शी बताते हैं, “हमने एक-दूसरे की मदद की। ये हमारे अस्तित्व की लड़ाई थी।”
भविष्य के लिए सबक
भजनपुरा की घटना ने हमें यह सिखाया कि सांप्रदायिक सौहार्द को बनाए रखना कितना जरूरी है। हिंसा किसी समस्या का समाधान नहीं है। प्रशासन और जनता को मिलकर ऐसे माहौल को रोकने की दिशा में काम करना चाहिए।
The Delhi riots of February 2020 were a harrowing reminder of communal violence. An eyewitness from Bhajanpura market shared how a well-planned conspiracy amidst anti-CAA protests led to an attack on a Hindu-majority market. With weapons like swords and acid bottles, the violent mob targeted innocent shopkeepers. This incident highlights the urgent need for communal harmony and better administrative preparedness to prevent such tragedies.