AIN NEWS 1: गाजियाबाद के नंदग्राम थाना क्षेत्र में नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक के खिलाफ सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक और जातिगत टिप्पणी करने का गंभीर मामला सामने आया है। इस संबंध में नगर निगम के खाद्य एवं सेनेटरी इंस्पेक्टर नरेश कुमार द्वारा शिकायत दर्ज कराई गई है। शिकायत में आरोप है कि एक व्यक्ति, जिसका नाम प्रवीण सिंह बताया जा रहा है, ने सोशल मीडिया और व्हाट्सएप ग्रुप में नगर आयुक्त के खिलाफ आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल किया है।
इस शिकायत के आधार पर नंदग्राम थाना पुलिस ने प्रवीण सिंह के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है और मामले की गहन जांच शुरू कर दी है।
क्या है पूरा मामला?
नगर निगम के फूड एवं सेनेटरी इंस्पेक्टर नरेश कुमार के अनुसार, आरोपी प्रवीण सिंह ने एक व्हाट्सएप ग्रुप और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक के लिए अभद्र और अपमानजनक शब्दों का प्रयोग किया। इतना ही नहीं, इन टिप्पणियों में जातिगत आधार पर भी अपमानजनक बातें कही गईं, जो कि कानूनन अपराध की श्रेणी में आता है।
नरेश कुमार ने बताया कि यह मामला इसलिए भी संवेदनशील है क्योंकि इसमें जाति को लेकर टिप्पणी की गई है, जो समाज में तनाव और भेदभाव को बढ़ावा दे सकती है।
राजनगर एक्सटेंशन को लेकर थी नाराजगी
सूत्रों के अनुसार, आरोपी प्रवीण सिंह राजनगर एक्सटेंशन की नागरिक समस्याओं को लेकर नाराज था। उसने नगर निगम और नगर आयुक्त पर यह कहते हुए निशाना साधा कि क्षेत्र की समस्याएं नहीं सुलझाई जा रही हैं। हालांकि, नगर निगम की ओर से स्पष्ट किया गया है कि राजनगर एक्सटेंशन फिलहाल गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (GDA) के अधीन आता है और नगर निगम को अभी तक हैंडओवर नहीं किया गया है।
इसी वजह से नगर निगम वहां कोई निर्माण या विकास कार्य नहीं कर रहा है। इसके बावजूद नगर आयुक्त को व्यक्तिगत रूप से निशाना बनाना गलत और दुर्भावनापूर्ण है।
नगर निगम की प्रतिक्रिया
नगर निगम के अधिकारी नरेश कुमार ने बताया कि नगर आयुक्त की छवि खराब करने के इरादे से सोशल मीडिया पर भ्रामक और अपमानजनक टिप्पणियां की गईं। उन्होंने कहा कि सार्वजनिक पद पर बैठे किसी अधिकारी के खिलाफ इस प्रकार की भाषा का प्रयोग अस्वीकार्य है।
नगर निगम ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस में शिकायत दर्ज कराई और आरोपी के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की मांग की है।
पुलिस कर रही है जांच
नंदग्राम थाना पुलिस ने इस मामले में प्रवीण सिंह के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है और साइबर सेल की मदद से डिजिटल साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं। पुलिस का कहना है कि आरोपी द्वारा की गई टिप्पणी के स्क्रीनशॉट और सोशल मीडिया चैट्स को जांच में शामिल किया गया है।
जांच अधिकारी ने बताया कि IPC की संबंधित धाराओं और SC/ST एक्ट के तहत केस दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।
सोशल मीडिया पर निगरानी जरूरी
इस घटना ने एक बार फिर सोशल मीडिया की निगरानी की आवश्यकता को रेखांकित किया है। डिजिटल प्लेटफॉर्म पर किसी के खिलाफ बिना तथ्यों के टिप्पणी करना, वह भी जातिगत स्तर पर, न केवल कानून का उल्लंघन है बल्कि सामाजिक सौहार्द को भी नुकसान पहुंचाता है।
पुलिस और प्रशासन अब इस दिशा में भी विचार कर रहे हैं कि सोशल मीडिया पर अफवाह या अपमानजनक कंटेंट पोस्ट करने वालों पर सख्त नजर रखी जाए।
गाजियाबाद में नगर आयुक्त के खिलाफ की गई अभद्र और जातिगत टिप्पणी का मामला एक गंभीर सामाजिक और कानूनी मुद्दा है। इससे न केवल प्रशासनिक अधिकारियों की छवि को ठेस पहुंचती है बल्कि समाज में आपसी तनाव भी बढ़ता है। पुलिस और प्रशासन इस मामले में सख्त कार्रवाई के मूड में हैं ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।
A serious case has emerged in Ghaziabad, where Municipal Commissioner Vikramaditya Singh Malik was targeted with abusive and caste-based comments on social media by a man named Praveen Singh. The incident, reported from Nandgram police station, has led to an FIR under SC/ST Act and other IPC sections. The controversy stemmed from civic complaints related to Rajnagar Extension, which is still under GDA and not the municipal corporation. The Ghaziabad police are actively investigating the matter with support from the cyber cell, making this a crucial case highlighting the growing misuse of digital platforms.