झारखंड लोकतांत्रिक क्रांतिकारी मोर्चा के नेता और डुमरी सीट से पहली बार विधायक बने जयराम महतो ने BJP की हार पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि BJP की दिल्ली केंद्रित नीतियों और झारखंडी अंदाज न अपनाने की वजह से पार्टी को हार का सामना करना पड़ा।
मुख्य बिंदु:
- नंगे पांव सदन में प्रवेश:
- जयराम महतो ने नंगे पांव विधानसभा में प्रवेश किया।
- उन्होंने कहा, “यह हमारी आस्था का केंद्र है, और आस्था के केंद्र में नंगे पांव ही जाना चाहिए।”
- BJP की हार के कारण:
- BJP की उदासीनता और दिल्ली की नीतियों को हार का कारण बताया।
- उन्होंने कहा, “अगर BJP झारखंड आती है, तो उसे झारखंडी अंदाज में आना चाहिए, सूट-बूट में नहीं।”
- क्षेत्रीय मुद्दों की अनदेखी:
- जयराम महतो ने कहा कि चुनाव प्रचार में BJP ने स्थानीय मुद्दों को नजरअंदाज किया।
- उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा:
- धनबाद में BCCL और भूमि अधिग्रहण
- बोकारो में CCL और BTPS
- गिरिडीह में पत्थर खदान और प्रदूषण
- कोडरमा में माइका खदान
- योगी आदित्यनाथ की रैलियों का असर:
- महतो ने कहा कि उन्हें योगी की रैलियों से कोई फर्क नहीं पड़ा, क्योंकि वे केवल अपने कार्यक्रमों पर फोकस कर रहे थे।
आगे की रणनीति:
- जयराम महतो ने कहा कि उनका रुख हेमंत सोरेन सरकार के व्यवहार पर निर्भर करेगा।
- “हम जिन मुद्दों को उठाएंगे, अगर सरकार उन पर काम करेगी तो ठीक, नहीं तो भविष्य में और भी विकल्प हैं,” उन्होंने कहा।
निष्कर्ष:
BJP की हार पर जयराम महतो का दावा है कि पार्टी को झारखंडी संस्कृति और मुद्दों की अनदेखी भारी पड़ी। उन्होंने कहा कि अगर BJP को झारखंड में जीतना है तो उसे स्थानीय नीतियों के हिसाब से चलना होगा।