AIN NEWS 1 | केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने विपक्ष शासित राज्यों में बढ़ती बेरोजगारी पर चिंता जताई है, खासकर केरल का उदाहरण देते हुए। मंत्री ने पीरियोडिक लेबर फोर्स सर्वे (PLFS) के जुलाई 2023 से जून 2024 तक के आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि केरल, जो देश में सबसे ज्यादा साक्षरता दर के लिए जाना जाता है, वहां 15-29 आयु वर्ग में बेरोजगारी दर 29.9% तक पहुंच गई है।
केरल की बेरोजगारी पर मंत्री का बयान
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि केरल में बेरोजगारी दर के आंकड़े चिंताजनक हैं, जहां महिलाओं की बेरोजगारी दर 47.1% और पुरुषों की 17.8% है। उन्होंने आरोप लगाया कि युवाओं, खासकर महिलाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। प्रधान ने इस समस्या के पीछे राज्य में भ्रष्टाचार और कुप्रबंधन को जिम्मेदार ठहराया।
विपक्ष शासित राज्यों पर आरोप
केंद्रीय मंत्री ने विपक्षी दलों की सरकारों को निशाने पर लेते हुए कहा कि ये राज्य अल्पकालिक लोकलुभावन योजनाओं पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, जबकि सतत आर्थिक विकास के लिए जरूरी नीतियों पर काम नहीं कर रहे। प्रधान ने आरोप लगाया कि अत्यधिक कर्ज़ और मुफ्त योजनाओं पर खर्च ने इन राज्यों की अर्थव्यवस्था को कमजोर कर दिया है।
बीजेपी शासित राज्यों में बेहतर प्रदर्शन
धर्मेंद्र प्रधान ने बीजेपी शासित राज्यों का जिक्र करते हुए कहा कि यहां की सरकारें बेहतर वित्तीय प्रबंधन और स्थिर शासन के कारण बेरोजगारी दर को नियंत्रित करने में सफल रही हैं। उदाहरण के तौर पर मध्य प्रदेश में बेरोजगारी दर सिर्फ 2.6% और गुजरात में 3.3% है। इन राज्यों में रोजगार सृजन और मजबूत आर्थिक नीतियों पर ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है। प्रधान ने कहा कि बीजेपी सरकारें युवाओं को सशक्त करने और रोजगार के नए अवसर प्रदान करने के लिए लगातार काम कर रही हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी धर्मेंद्र प्रधान के इस बयान का समर्थन करते हुए ट्वीट किया।