Thursday, January 16, 2025

लॉरेन पॉवेल का महाकुंभ से भूटान का सफर: 92 साल बाद प्रयागराज से अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट, काली दीक्षा लेकर आत्मिक शांति की खोज?

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महाकुंभ में तीन दिन बिताने के बाद भूटान पहुंचीं लॉरेन पॉवेल

AIN NEWS 1: एपल के को-फाउंडर स्टीव जॉब्स की पत्नी लॉरेन पॉवेल ने महाकुंभ 2025 में तीन दिन तक भारतीय आध्यात्म और सनातन परंपरा का अनुभव किया। उन्होंने निरंजनी अखाड़े में भगवती मां काली के बीज मंत्र ‘ॐ क्रीं महाकालिका नमः’ की दीक्षा ली। स्वामी कैलाशानंद गिरि ने उन्हें आध्यात्मिक मार्गदर्शन देते हुए ‘कमला’ नाम दिया।

अचानक बदला कार्यक्रम, प्रयागराज से भूटान के लिए रवाना

लॉरेन पॉवेल का महाकुंभ में 10 दिन कल्पवास करने का कार्यक्रम था, लेकिन स्वास्थ्य कारणों से उन्हें बीच में ही लौटना पड़ा। उनके लिए 92 साल बाद प्रयागराज से अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट उड़ी। रॉयल भूटान एयरलाइंस की फ्लाइट बुधवार सुबह उन्हें लेने प्रयागराज एयरपोर्ट पहुंची। लॉरेन ने इमिग्रेशन की औपचारिकताओं के बाद भूटान के लिए उड़ान भरी।

महाकुंभ में आध्यात्मिक अनुभव

महाकुंभ के दौरान लॉरेन ने सनातन धर्म और भारतीय संस्कृति को करीब से समझने का प्रयास किया। उन्होंने कहा, “मां काली की साधना से मुझे आत्मिक शांति और नई दिशा मिली है। सनातन परंपरा की गहराई ने मुझे भीतर से छुआ है।”

स्टीव जॉब्स की अधूरी इच्छा हुई पूरी

1974 में स्टीव जॉब्स ने भारत आकर कुंभ मेले में शामिल होने की इच्छा जताई थी, लेकिन वे आ नहीं सके। माना जा रहा है कि लॉरेन ने उनकी अधूरी इच्छा पूरी करने के लिए भारत का यह दौरा किया। इसी बीच स्टीव जॉब्स का लिखा हुआ वह पत्र 4.32 करोड़ रुपए में नीलाम हुआ जिसमें उन्होंने भारत आने की इच्छा व्यक्त की थी।

प्रयागराज से अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट: ऐतिहासिक पल

प्रयागराज से 92 साल बाद अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट उड़ाई गई। इससे पहले 1932 में यहां से लंदन के लिए फ्लाइट शुरू हुई थी। लॉरेन की यात्रा गुप्त रखी गई थी और केवल चुनिंदा अधिकारियों को इसकी जानकारी थी।

कौन हैं लॉरेन पॉवेल?

लॉरेन पॉवेल जॉब्स दुनिया की सबसे अमीर और प्रभावशाली महिलाओं में से एक हैं। फोर्ब्स 2020 की सूची में उनका परिवार 59वें स्थान पर था। वह भारतीय संस्कृति और आध्यात्म से गहराई से प्रभावित हैं।

SEO Boost Paragraph (English):

 

Laurene Powell Jobs, wife of Apple co-founder Steve Jobs, recently visited the Mahakumbh 2025 in Prayagraj, immersing herself in Indian spirituality and Sanatan traditions. After spending three days in the sacred festival and receiving initiation into the Mahakali mantra, she flew to Bhutan in a historic international flight—the first from Prayagraj in 92 years. Her visit also fulfills Steve Jobs’ unfulfilled wish to attend the Kumbh Mela, adding a layer of emotional significance to her spiritual journey.

 

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सत्यमेव जयते नानृतं सत्येन पन्था विततो देवयानः।
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