नमस्कार,
कल की बड़ी खबर अरविंद केजरीवाल से जुड़ी रही। उन्होंने दिल्ली के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने का ऐलान किया है। दूसरी बड़ी खबर केंद्रीय मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू के बयान पर रही। उन्होंने राहुल गांधी को देश का नंबर-1 आतंकी बताया है।
आज के प्रमुख इवेंट्स:
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज गुजरात में देश की पहली वंदे मेट्रो ट्रेन को हरी झंडी दिखाएंगे। यह मेट्रो ट्रेन अहमदाबाद और भुज के बीच चलेगी, जो यातायात में नई क्रांति लाने वाली है।
- केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जम्मू-कश्मीर में तीन चुनावी रैलियों को संबोधित करेंगे। इन रैलियों में अमित शाह राज्य के राजनीतिक और विकास से जुड़े मुद्दों पर अपनी बात रख सकते हैं।
अब कल की बड़ी खबरें…
अरविंद केजरीवाल देंगे इस्तीफा , नया मुख्यमंत्री चुनेगी आम आदमी पार्टी
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपने पद से इस्तीफा देने की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि वे अगले दो दिनों में इस्तीफा दे देंगे, लेकिन दिल्ली विधानसभा भंग नहीं होगी। इसके बाद आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायक दल की बैठक में नया मुख्यमंत्री चुना जाएगा, जो चुनाव तक दिल्ली की सरकार संभालेगा। केजरीवाल ने यह भी स्पष्ट किया कि मनीष सिसोदिया किसी पद पर नहीं रहेंगे।
सूत्रों के मुताबिक, आतिशी, कैलाश गहलोत, गोपाल राय, सौरभ भारद्वाज और सुनीता केजरीवाल में से किसी एक को नया मुख्यमंत्री चुना जा सकता है।
केजरीवाल की अग्निपरीक्षा
केजरीवाल ने कहा कि जैसे माता सीता को वनवास से लौटने के बाद अग्निपरीक्षा देनी पड़ी थी, वैसे ही उन्हें भी अब अपनी ईमानदारी की परीक्षा देनी होगी। उन्होंने कहा कि भाजपा ने उन पर भ्रष्टाचार और बेईमानी के आरोप लगाए हैं, लेकिन अब जनता का फैसला ही सर्वोपरि होगा। अगर फरवरी 2025 में होने वाले दिल्ली चुनाव में जनता ने उन्हें फिर से चुना, तो वह दोबारा मुख्यमंत्री बनेंगे।
इस्तीफे के पीछे के कारण: दो मुख्य बातें
- मुख्यमंत्री पद, लेकिन बिना पावर के: दिल्ली शराब नीति मामले में 177 दिन जेल में रहने के बाद केजरीवाल को जमानत पर रिहा किया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने शर्त रखी थी कि वे मुख्यमंत्री कार्यालय नहीं जा सकते और किसी भी फाइल पर हस्ताक्षर नहीं कर सकते। इसका मतलब था कि वह मुख्यमंत्री होते हुए भी पावरलेस थे, और सरकार कैबिनेट के भरोसे चल रही थी।
- चुनाव से पहले समय का फायदा: दिल्ली विधानसभा का कार्यकाल फरवरी 2025 में समाप्त हो रहा है, यानी सरकार के पास अब केवल 5 महीने बचे हैं। इस दौरान आमतौर पर सरकारें चुनावी फैसले लेती हैं, लेकिन केजरीवाल कोर्ट की शर्तों से बंधे हुए थे। जेल से बाहर आने के बाद उनके प्रति सहानुभूति भी है, जिसे वह जल्द चुनाव की मांग करके भुनाना चाह सकते हैं।
इस प्रकार केजरीवाल का इस्तीफा पार्टी के अंदर एक नई रणनीति और आगामी चुनावों की तैयारी का हिस्सा है।
केंद्रीय मंत्री का विवादित बयान: राहुल गांधी को बताया देश का नंबर-1 आतंकवादी
केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता रवनीत सिंह बिट्टू ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर गंभीर आरोप लगाते हुए उन्हें देश का “नंबर-1 आतंकवादी” कहा है। बिट्टू ने कहा कि राहुल गांधी न तो हिंदुस्तानी हैं और न ही उन्हें भारत से कोई प्रेम है। उनका आरोप है कि राहुल गांधी पहले मुसलमानों को अपने पक्ष में करने की कोशिश कर रहे थे, और अब वे सिख समुदाय को विभाजित करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि देश की एजेंसियों को राहुल गांधी पर नजर रखनी चाहिए और उन्हें पकड़ने वाले को इनाम मिलना चाहिए, क्योंकि वे देश के सबसे बड़े दुश्मन हैं।
राहुल गांधी का बयान और विवाद की जड़
राहुल गांधी ने हाल ही में अमेरिका में सिख समुदाय को लेकर बयान दिया था, जिसमें उन्होंने कहा था कि भारत में सिखों के बीच यह चिंता है कि उन्हें पगड़ी और कड़ा पहनने की अनुमति दी जाएगी या नहीं। इस बयान के बाद भाजपा नेताओं ने राहुल गांधी पर तीखे हमले किए।
कांग्रेस का जवाब
राहुल गांधी पर लगाए गए आरोपों पर कांग्रेस ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। पार्टी की प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि रवनीत बिट्टू ने राहुल गांधी के साथ अपना राजनीतिक करियर शुरू किया, और अब सत्ता की लालसा में उन्होंने विरोधियों के साथ मिलकर सस्ते बयान देना शुरू कर दिया है। उन्होंने रवनीत बिट्टू को “आस्तीन का सांप” कहा।
रवनीत सिंह बिट्टू का राजनीतिक सफर
रवनीत सिंह बिट्टू पंजाब के दिवंगत मुख्यमंत्री बेअंत सिंह के पोते हैं। 2007 में उनकी मुलाकात राहुल गांधी से हुई और 2008 में उन्हें पंजाब यूथ कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया गया। उन्होंने 2009 में आनंदपुर साहिब से और फिर 2014 और 2019 में लुधियाना से कांग्रेस के टिकट पर लोकसभा चुनाव जीते। 2024 लोकसभा चुनाव से पहले वे भाजपा में शामिल हो गए और लुधियाना से भाजपा के सांसद बने।
इस तरह से, दोनों पार्टियों के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है, जो आगामी चुनावी माहौल को और गर्म करने का संकेत देता है।
अनिल विज ने हरियाणा के मुख्यमंत्री पद का दावा किया, BJP ने खारिज किया
हरियाणा के पूर्व गृहमंत्री और अंबाला कैंट से भाजपा उम्मीदवार अनिल विज ने मुख्यमंत्री पद के लिए अपनी दावेदारी पेश की है। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में विज ने अपने विधायक और मंत्री रहते हुए कराए गए कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा, “मैं सबसे सीनियर नेता हूं और अपनी सीनियॉरिटी के आधार पर मुख्यमंत्री पद का दावा करूंगा। पार्टी का निर्णय चाहे जो हो, पर मेरा दावा कायम है।” हालांकि, भाजपा ने विज के इस दावे को खारिज कर दिया।
भाजपा की प्रतिक्रिया
हरियाणा भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मोहन बड़ौली ने कहा कि नेताओं का दावा करना उनकी व्यक्तिगत बात है, लेकिन पार्टी संगठन का फैसला है कि नायब सैनी भाजपा के मुख्यमंत्री उम्मीदवार होंगे। बड़ौली ने स्पष्ट किया कि भाजपा की सरकार बनने पर सैनी ही मुख्यमंत्री बनेंगे।
नायब सैनी का नाम पहले ही घोषित
इससे पहले 29 जून 2024 को केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने पंचकूला में हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए नायब सैनी को भाजपा का मुख्यमंत्री चेहरा घोषित किया था। हालांकि, कई सीनियर भाजपा नेता इस फैसले से नाराजगी जता चुके हैं। अनिल विज के अलावा गुरुग्राम से सांसद और केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह भी मुख्यमंत्री पद के लिए अपना दावा पहले ही कर चुके हैं।
सीनियर नेताओं की नाराजगी
नायब सैनी को मुख्यमंत्री उम्मीदवार घोषित किए जाने के बाद भी हरियाणा भाजपा के कई वरिष्ठ नेता इस फैसले से असंतुष्ट हैं, जिसमें अनिल विज और राव इंद्रजीत सिंह जैसे बड़े नाम शामिल हैं।
हर डॉक्टर को मिलेगा यूनिक आईडी नंबर, अब सरकार को मिलेगी देश में डॉक्टरों की सटीक जानकारी
केंद्र सरकार ने सभी डॉक्टरों के लिए नेशनल मेडिकल रजिस्टर (NMR) में रजिस्ट्रेशन को अनिवार्य कर दिया है। इसके तहत हर डॉक्टर को एक यूनिक आईडी नंबर दिया जाएगा। इस प्रक्रिया के लिए डॉक्टरों को अपने MBBS सर्टिफिकेट, रजिस्ट्रेशन और आधार कार्ड की जानकारी सबमिट करनी होगी। यह नया पोर्टल नेशनल मेडिकल कमीशन (NMC) द्वारा तैयार किया गया है।
क्यों जरूरी है NMR?
अब तक देश में यह स्पष्ट नहीं था कि कुल कितने डॉक्टर हैं और उनके पास कौन-कौन सी डिग्रियां हैं। केवल अनुमानित आंकड़े मौजूद थे, लेकिन अब इस रजिस्टर से देश में डॉक्टरों की सही संख्या का पता चलेगा। इसके साथ ही यह भी पता चलेगा कि कितने डॉक्टरों ने देश छोड़ा, कितनों का लाइसेंस रद्द हुआ, और कितने डॉक्टरों की मृत्यु हुई। इन सभी जानकारियों को एक ही पोर्टल पर देखा जा सकेगा, जिससे स्वास्थ्य सेवा से जुड़े महत्वपूर्ण डेटा को ट्रैक करना आसान हो जाएगा।
NMR पर रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया
- आवश्यक दस्तावेज़: डॉक्टरों को अपनी आधार आईडी, MBBS डिग्री का डिजिटल सर्टिफिकेट, और स्टेट मेडिकल काउंसिल या मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया से मिला रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट पोर्टल पर अपलोड करना होगा।
- वैरिफिकेशन प्रक्रिया: स्टेट मेडिकल काउंसिल पहले इस फॉर्म का वैरिफिकेशन करेगी और फिर इसे संबंधित कॉलेज या संस्थान को भेजेगी। इसके बाद, सभी दस्तावेज़ों की जांच करके एप्लीकेशन को नेशनल मेडिकल कमीशन (NMC) के पास भेजा जाएगा, जहां से इसे अंतिम रूप से वैरिफाई किया जाएगा और डॉक्टर का डेटा पोर्टल पर लाइव हो जाएगा।
इस कदम का लाभ
यह कदम डॉक्टरों की सही संख्या, उनकी योग्यता और उनकी स्थिति के बारे में पारदर्शी जानकारी उपलब्ध कराएगा। साथ ही, इससे मेडिकल क्षेत्र में प्लानिंग और संसाधनों के वितरण में मदद मिलेगी।
नीरज चोपड़ा ने फ्रैक्चर के बावजूद डायमंड लीग फाइनल खेला, रनर-अप रहे
दो बार के ओलिंपिक मेडलिस्ट और जेवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने बाएं हाथ में फ्रैक्चर होने के बावजूद 2024 डायमंड लीग फाइनल में हिस्सा लिया। उन्होंने सोशल मीडिया पर बताया कि प्रैक्टिस के दौरान उन्हें चोट लगी थी, और एक्स-रे से पता चला कि उनके हाथ में फ्रैक्चर है। इसके बावजूद, अपनी टीम की मदद से नीरज ने फाइनल में भाग लिया और दूसरे स्थान पर रहे।
डायमंड लीग में कड़ा मुकाबला
नीरज ने अपने तीसरे अटेम्प्ट में 87.86 मीटर का बेस्ट थ्रो फेंका, लेकिन वह चैंपियन बनने से महज 0.01 मीटर दूर रह गए। ग्रेनेडा के एंडरसन पीटर्स ने 87.87 मीटर के थ्रो के साथ पहला स्थान हासिल किया। नीरज ने चोट के बावजूद शानदार प्रदर्शन किया और रनर-अप रहे।
ओलिंपिक में सिल्वर मेडल
नीरज चोपड़ा ने हाल ही में संपन्न हुए पेरिस ओलिंपिक में सिल्वर मेडल जीता था। उन्होंने 89.45 मीटर का सीजन बेस्ट थ्रो किया था। पाकिस्तान के अरशद नदीम ने 92.97 मीटर थ्रो के साथ गोल्ड मेडल अपने नाम किया था।
नीरज का यह जज्बा दिखाता है कि वह अपनी चोट के बावजूद भी प्रतिस्पर्धा के लिए पूरी तरह से समर्पित हैं और लगातार बेहतरीन प्रदर्शन कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री बोले: झारखंड के तीन दुश्मन हैं JMM, RJD और कांग्रेस
विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने झारखंड के जमशेदपुर में एक जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि झारखंड के तीन बड़े दुश्मन हैं – झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM), राष्ट्रीय जनता दल (RJD), और कांग्रेस। प्रधानमंत्री ने आरोप लगाया कि RJD झारखंड के बनने के बाद से ही बदला ले रही है, जबकि कांग्रेस का झारखंड के विकास में कोई योगदान नहीं रहा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने झारखंड मुक्ति मोर्चा के साथ मिलकर बांग्लादेशी घुसपैठियों का समर्थन किया है और इससे राज्य को नुकसान पहुंचा है।
भाजपा को मौका देने की अपील
प्रधानमंत्री ने कहा कि अगर झारखंड को विकास की राह पर आगे बढ़ाना है, तो लोगों को भारतीय जनता पार्टी (BJP) को एक और मौका देना चाहिए। उन्होंने दावा किया कि भाजपा ही राज्य को सही दिशा में ले जा सकती है और झारखंड का विकास सुनिश्चित कर सकती है।
झारखंड चुनाव 2024
झारखंड विधानसभा चुनाव इसी साल नवंबर या दिसंबर में हो सकते हैं। विधानसभा का कार्यकाल 5 जनवरी 2025 को समाप्त होगा। पिछला चुनाव दिसंबर 2019 में हुआ था, जिसमें JMM, कांग्रेस, और RJD ने गठबंधन में चुनाव लड़ा और जीत हासिल की थी। JMM ने 30 सीटें जीती थीं, कांग्रेस ने 16 सीटें, जबकि भाजपा 25 सीटों पर सिमट गई थी।
प्रधानमंत्री के इस बयान के बाद झारखंड का राजनीतिक माहौल और भी गर्म हो सकता है, क्योंकि चुनाव की तारीखें नजदीक आ रही हैं।