पहलगाम हमले के बाद कश्मीर में सन्नाटा, पटनीटॉप में बढ़ी सैलानियों की चहल-पहल!

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Tourists Flock to Patnitop as Kashmir Tourism Declines After Pahalgam Terror Attack

पठानकोट हमले के बाद पटनीटॉप बना पर्यटकों की पसंद, कश्मीर पर्यटन में गिरावट

AIN NEWS 1: भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव का असर जम्मू-कश्मीर के पर्यटन पर साफ नजर आने लगा है। जहां एक ओर कश्मीर घाटी में पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट दर्ज की गई है, वहीं जम्मू के पटनीटॉप और बटोट जैसे हिल स्टेशनों पर पर्यटकों की भीड़ उमड़ रही है। हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद कश्मीर में सुरक्षा व्यवस्था सख्त हो गई, जिससे घाटी का पर्यटन लगभग ठप हो गया है। इसके विपरीत, पटनीटॉप जैसे सुरक्षित इलाकों में पर्यटक रुख कर रहे हैं और स्थानीय होटलों को इससे राहत मिल रही है।

कश्मीर में सन्नाटा, पटनीटॉप में चहल-पहल

पहलगाम आतंकी हमले के बाद कश्मीर का पर्यटन पूरी तरह से प्रभावित हुआ। कई सैलानी अपनी यात्रा बीच में ही छोड़कर घाटी से रवाना हो गए। इनमें से अधिकांश पर्यटक जम्मू के सुरक्षित इलाकों जैसे पटनीटॉप और बटोट की ओर चले गए, जहां उन्हें न केवल सुकून मिला, बल्कि वे खुद को सुरक्षित भी महसूस कर रहे हैं।

राजेश कुमार, जो पटनीटॉप में होटल व्यवसायी हैं, बताते हैं कि पहलगाम की घटना के बाद जम्मू और कश्मीर के पर्यटन में बड़ी गिरावट आई थी। “हमारा काम बिल्कुल ठप हो गया था। लेकिन अब लोग जम्मू छोड़कर पटनीटॉप आ रहे हैं। वाहन आने लगे हैं और हमारी आय फिर से शुरू हो गई है,” उन्होंने कहा।

गुजरात से आई पर्यटक ने बताया सुरक्षित अनुभव

गुजरात से आई पर्यटक किरण पटेल ने बताया कि उन्होंने कश्मीर जाने का मन बनाया था और श्रीनगर पहुंची थीं, लेकिन पहलगाम हमले के बाद वहां सुरक्षा कारणों से सभी पर्यटन स्थल बंद कर दिए गए। “हमें केवल सोनमर्ग जाने का मौका मिला, उसके बाद सब कुछ बंद हो गया। फिर हमने पटनीटॉप आकर ठहरने का फैसला किया। यहां हम दो दिन से रुके हुए हैं और सभी जगहों का भ्रमण किया। हम यहां पूरी तरह से सुरक्षित महसूस कर रहे हैं,” उन्होंने बताया।

पर्यटन उद्योग को मिली राहत

पटनीटॉप और बटोट जैसे इलाकों में पर्यटन से जुड़े व्यवसायियों के लिए यह समय किसी राहत से कम नहीं है। पहलगाम जैसी घटनाओं से जहां घाटी में डर और असुरक्षा का माहौल बनता है, वहीं जम्मू के इन हिल स्टेशनों को अपेक्षाकृत सुरक्षित माना जाता है। नतीजतन, पर्यटक अब यहां का रुख कर रहे हैं, जिससे होटल, टैक्सी, गाइड और अन्य सेवाओं से जुड़े लोगों को आर्थिक राहत मिल रही है।

स्थानीय लोगों को रोजगार की उम्मीद

स्थानीय लोगों का मानना है कि अगर हालात ऐसे ही बने रहे तो पटनीटॉप को वैकल्पिक पर्यटन स्थल के रूप में और अधिक बढ़ावा मिल सकता है। इससे न केवल रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे, बल्कि जम्मू क्षेत्र में पर्यटन का नया चेहरा भी उभरकर सामने आएगा।

सरकार से सुरक्षा और प्रचार की मांग

पर्यटन व्यवसायियों ने सरकार से अपील की है कि पटनीटॉप जैसे स्थलों की सुरक्षा और प्रचार-प्रसार पर विशेष ध्यान दिया जाए। साथ ही, देशभर के लोगों को यह बताया जाए कि जम्मू क्षेत्र में अब भी कई ऐसे सुरक्षित पर्यटन स्थल मौजूद हैं, जहां वे बिना किसी डर के घूम सकते हैं।

After the tragic Pahalgam terror attack and ongoing tensions between India and Pakistan, Kashmir has witnessed a sharp decline in tourism. However, Patnitop, a scenic hill station in Jammu, has emerged as a safe haven for tourists fleeing from conflict zones. With increased hotel bookings and safe surroundings, Patnitop tourism is witnessing a revival. Visitors from across India, especially those who left Kashmir midway, are now choosing Patnitop for its peace and security. This shift has provided much-needed economic relief to hoteliers and local businesses in the region.

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