AIN NEWS 1 | भारतीय राजनीति में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हर कदम चर्चा का विषय बन जाता है। ऐसा ही एक नजारा 7 सितंबर 2025 (रविवार) को देखने को मिला, जब भाजपा (BJP) के गोरखपुर सांसद और अभिनेता रवि किशन ने सोशल मीडिया पर एक तस्वीर साझा की। इस तस्वीर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भाजपा सांसदों की कार्यशाला के दौरान अंतिम पंक्ति में बैठे दिखाई दे रहे थे।
यह तस्वीर देखते ही सोशल मीडिया पर चर्चा छिड़ गई। आमतौर पर नेताओं को आगे की पंक्ति में बैठते हुए देखा जाता है, लेकिन देश के प्रधानमंत्री का पिछली कतार में बैठना न केवल चौंकाने वाला था, बल्कि इसने संगठन के भीतर की संस्कृति को भी उजागर कर दिया।
रवि किशन ने क्या कहा?
रवि किशन ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर यह तस्वीर साझा करते हुए लिखा –
“प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी का एनडीए सांसदों की कार्यशाला में पिछली पंक्ति में बैठना भाजपा की ताकत है। यहां संगठन में हर कोई पहले कार्यकर्ता है।”
उनकी इस बात से साफ है कि भाजपा के भीतर अनुशासन, समानता और कार्यकर्ता संस्कृति को ही सबसे ज्यादा महत्व दिया जाता है।
कार्यशाला का उद्देश्य
यह दो दिवसीय कार्यशाला 7 और 8 सितंबर को आयोजित की गई। इसका मुख्य मकसद था एनडीए सांसदों को पार्टी की विचारधारा, संगठनात्मक यात्रा और आने वाले समय की चुनौतियों से अवगत कराना।
पहले दिन का फोकस दो अहम विषयों पर रहा –
2027 तक विकसित भारत का लक्ष्य – सांसदों को इस बात पर मंथन करना था कि कैसे भारत को आने वाले वर्षों में विकसित देशों की श्रेणी में लाया जा सकता है।
सोशल मीडिया का प्रभावी उपयोग – आज के डिजिटल दौर में सांसदों को यह समझाया गया कि जनता तक सीधा संवाद स्थापित करने और अपने काम को प्रसारित करने में सोशल मीडिया की कितनी बड़ी भूमिका है।
प्रधानमंत्री का सम्मान
कार्यशाला के दौरान सांसदों ने जीएसटी सुधारों के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विशेष रूप से सम्मान किया। यह सम्मान इस बात का प्रतीक था कि भाजपा के सांसद केंद्र सरकार की आर्थिक नीतियों को लेकर प्रधानमंत्री के नेतृत्व की सराहना करते हैं।
दूसरी पंक्ति नहीं, कार्यकर्ता संस्कृति
पीएम मोदी का पिछली कतार में बैठना एक प्रतीकात्मक संदेश माना जा रहा है। आमतौर पर बड़े नेता हमेशा अग्रिम पंक्ति में नजर आते हैं, लेकिन भाजपा की राजनीति में संगठन सर्वोपरि माना जाता है।
यह तस्वीर बताती है कि चाहे प्रधानमंत्री हों या कोई साधारण कार्यकर्ता, सभी एक समान हैं।
कार्यशाला का दूसरा दिन
कार्यशाला के दूसरे दिन (8 सितंबर 2025) का मुख्य फोकस उपराष्ट्रपति चुनाव की तैयारियों पर था। चूंकि 9 सितंबर को उपराष्ट्रपति चुनाव होना था, इसलिए एनडीए सांसदों को रणनीति और चुनाव प्रक्रिया के अहम बिंदुओं पर प्रशिक्षित किया गया।
भाजपा की कार्यकर्ता संस्कृति पर चर्चा
भाजपा का हमेशा से दावा रहा है कि वह कार्यकर्ता-आधारित पार्टी है। चाहे बूथ स्तर पर कार्यकर्ता हों या संसद में बैठे प्रधानमंत्री – सभी को संगठन के प्रति समान जिम्मेदारी निभानी होती है।
प्रधानमंत्री मोदी खुद कई बार कह चुके हैं कि वे पहले कार्यकर्ता हैं और बाद में प्रधानमंत्री। इस कार्यशाला में अंतिम पंक्ति में बैठकर उन्होंने इस विचारधारा को फिर एक बार जीवंत कर दिया।
सोशल मीडिया पर चर्चा
रवि किशन की पोस्ट के बाद सोशल मीडिया पर हजारों प्रतिक्रियाएं आईं। कई लोगों ने इस तस्वीर को भाजपा की विनम्रता और सामूहिक नेतृत्व की पहचान बताया, जबकि कुछ ने इसे एक साधारण लेकिन प्रभावशाली राजनीतिक संदेश करार दिया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भाजपा की कार्यशाला में पिछली कतार में बैठना महज एक तस्वीर नहीं है, बल्कि यह भारतीय राजनीति के लिए एक गहरा संदेश है। यह संदेश है – सत्ता के शिखर पर बैठे नेता भी संगठन में कार्यकर्ता की तरह रह सकते हैं।
यह तस्वीर आने वाले समय में भाजपा की संगठनात्मक संस्कृति और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विनम्रता का प्रतीक बनकर याद रखी जाएगी।