AIN NEWS 1 नोएडा: बढ़ते वायु प्रदूषण और खतरनाक वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) से राहत पाने के लिए नोएडा की दो प्रमुख सोसाइटीज़ ने एक नया और अनूठा कदम उठाया है। सेक्टर-100 स्थित लोटस बुलेवर्ड सोसाइटी और सेक्टर-168 स्थित गोल्डन पाम सोसाइटी ने कृत्रिम बारिश (आर्टिफिशियल रेन) का सहारा लिया है। इस पहल का उद्देश्य सोसाइटी और उसके आसपास के क्षेत्र में प्रदूषण को कम करना है, ताकि निवासियों को स्वच्छ और स्वस्थ वातावरण मिल सके।
क्या है कृत्रिम बारिश?
कृत्रिम बारिश एक ऐसी प्रक्रिया है, जिसमें छतों पर लगे स्प्रिंकलर या पाइप्स के जरिए पानी की बौछार की जाती है। यह पानी वातावरण में मौजूद हानिकारक कणों को जमीन पर बैठाने में मदद करता है, जिससे वायु प्रदूषण में कमी आती है।
लोटस बुलेवर्ड सोसाइटी की पहल
लोटस बुलेवर्ड सोसाइटी के एओए (अपार्टमेंट ओनर्स एसोसिएशन) ने बताया कि मंगलवार रात 12 बजे से सुबह 4 बजे तक सोसाइटी की छतों पर बड़े-बड़े स्प्रिंकलर्स से पानी की बौछार की जाएगी। इस प्रक्रिया से सोसाइटी और उसके आसपास की हवा साफ होने की उम्मीद है।
गोल्डन पाम सोसाइटी का प्रयास
नोएडा सेक्टर-168 स्थित गोल्डन पाम सोसाइटी के निवासियों ने भी सामूहिक प्रयास से यह तकनीक अपनाई। उन्होंने टॉवर के टॉप फ्लोर की छत से प्रेशर पाइप के जरिए पानी का छिड़काव किया। निवासियों का कहना है कि पास में स्थित नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे की वजह से प्रदूषण का स्तर अधिक रहता है। इस उपाय से सोसाइटी के निवासियों को कुछ हद तक राहत मिली है।
नोएडा प्राधिकरण भी कर रहा है प्रयास
सिर्फ सोसाइटी ही नहीं, बल्कि नोएडा प्राधिकरण भी शहर की सड़कों पर पानी का छिड़काव कर प्रदूषण कम करने का प्रयास कर रहा है। सोसाइटी वासियों का कहना है कि जब तक प्रदूषण का स्तर सामान्य नहीं होता, वे इस प्रक्रिया को नियमित रूप से अपनाते रहेंगे।
नतीजा
यह अनूठी पहल नोएडा में बढ़ते प्रदूषण से लड़ने के लिए एक प्रेरणा बन सकती है। अगर अन्य क्षेत्र भी इस तरीके को अपनाएं, तो वायु प्रदूषण के स्तर को नियंत्रित करने में काफी मदद मिल सकती है।