शहर की हवा हुई बेहद खराब , फूलने लगी लोगों की सांसें , जल रहीं आंखें….

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दिन पर दिन प्रदूषण स्तर बढ़ने के चक्कर में लोगो को काफी ज्यादा दिक्कत का सामना करना पढ़ रहा है. वही आपको बता दे कि शहर की हवा बेहद खराब रही. बढ़ते प्रदूषण के चक्कर में लोगों की आंखों में जलन और सांसें फूलने लगी है. वही रविवार को जिले में एक्यूआई खराब श्रेणी में 246 रहा,  जो शनिवार को 227 पर रिकॉर्ड हुआ था. आपको बता दे लगातार प्रदुषण स्तर बढ़ने से हालात खराब हो रही है अगर बात करे लोनी की तो लोनी का एक्यूआई 379 होने से प्रदूषण की इमरजेंसी हो गई है। सबसे ज्यादा महिलाओं और बुजुर्गों को लबें समय तक घर से बाहर रहने पर सांस लेने में दिक्कत होने की चेतावनी दी है. सबसे ज्यादा चिंता की बात ये है कि लोनी मे एक्यूआई लगातार बढ़ने के बावजूद नगर पालिका परिषद, यातायात अधिकारी टूटी सड़के, कूड़ा जलाने और प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों पर लगाम नहीं कस पा रहे है.

आपको बता दे कि शहर में एक्यूआई 246 होने से पीएम 10 मानकों से तीन गुना ज्यादा बढ़ गया। लोनी की हालत चिंताजनक रही। स्टेशन  पर पीएम 2.5 न्यूनतम 198 और औसतन 379 पर रहा। इसके साथ पीएम 10 न्यूनतम 148 और औसत 328 मापा गया। चिकित्सकों का कहना है कि धूल-मिट्टी और वाहनों के धुएं से फैल रहे प्रदूषण कणों महिलाएं और बुजुर्गों को लंबे समय तक सांस की दिक्कत कर सकती है। दूसरे नंबर पर । वसुंधरा का एक्यूआई 231 रहा। यहां ई पीएम 2.5 न्यूनतम 80 और औसत 231, पीएम 10 न्यूनतम 105 व औसत 155 रहा। इससे लोगों को हल्की खांसी से सांस लेने दिक्कत हुई। वहीं आपको बता दे तीसरे नंबर पर इंदिरापुरम का एक्यूआई 199 रहा, जिसमें पीएम 2.5 न्यूनतम 69 और औसत 163 व पीएम 10 न्यूनतम 136, औसत 200 रहा. वहीं आपको बता दे कि संजयनगर में भी एक्यूआई 176 पर रहा. साथ ही आपको बता दे कि प्रदूषण के चक्कर में काफी ज्यादा लोगो को दिक्कत का सामना करना पढ़ रहा है. बता दे कि शहर में जिन जगह पर खोदाई और निर्माण गतिविधियां चल रही हैं। उन जगहों पर प्रदूषण रिकॉर्ड तोड़ स्थिति में है। सेवन एक्स के पास कई जगह सीवर, पानी की खोदाई के बाद सड़कों का निर्माण न होने के कारण धूल के गुबार उड़ रहे हैं। धूल, कचरा जलाने, ट्रैफिक जाम वातावरण में प्रदूषण की मात्रा बढ़ा रहा है। सूक्ष्म कण पेड़, पौधे, सड़क आदि पर जमा हैं। ट्रैफिक जाम से मुक्ति, सड़कों की धूल कम करने के लिए पानी का छिड़काव आदि कदमों को तुरंत उठाने की जरूरत है।

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