AIN NEWS 1 | उत्तर प्रदेश सरकार ने स्वास्थ्य सेवाओं को और सशक्त बनाने तथा प्रशासनिक कार्यों को सुचारु करने के लिए कई चिकित्साधिकारियों के तबादले और नई नियुक्तियां की हैं। चिकित्सा अनुभाग-2, लखनऊ से 8 सितंबर 2025 को जारी इस आदेश के अनुसार, वर्तमान पदों पर कार्यरत अधिकारियों को उनकी नई जिम्मेदारियों पर भेजा गया है।
यह तबादला आदेश स्वास्थ्य विभाग में प्रशासनिक पारदर्शिता और सेवा सुचारु करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। आदेश के अनुसार, जिन चिकित्साधिकारियों को नए स्थान पर भेजा गया है, उन्हें तत्काल प्रभाव से कार्यभार संभालने के निर्देश दिए गए हैं।
तबादले और नई नियुक्तियों का विवरण
नीचे उन अधिकारियों की सूची दी गई है जिन्हें नई जिम्मेदारियाँ सौंपी गई हैं:
1. डॉ. गंधा वल्लभ (10668)
वर्तमान पद: अपर मुख्य चिकित्साधिकारी, सुल्तानपुर
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, मथुरा
2. डॉ. भवानीनाथ पाण्डेय (9410)
वर्तमान पद: मुख्य चिकित्सा अधीक्षक, जिला संयुक्त चिकित्सालय, संतकबीर नगर
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, हरदोई
3. डॉ. दीपक सिंह (10394)
वर्तमान पद: अपर मुख्य चिकित्साधिकारी, बागपत
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, रामपुर
4. डॉ. राजेन्द्र प्रसाद (9157)
वर्तमान पद: अपर मुख्य चिकित्साधिकारी, महाराजगंज
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, एटा
5. डॉ. नन्दन राम (10157ख)
वर्तमान पद: वरिष्ठ परामर्शदाता, जिला महिला चिकित्सालय, जालौन
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, आज़मगढ़
6. डॉ. चन्द्र प्रकाश (10139)
वर्तमान पद: वरिष्ठ परामर्शदाता, जिला चिकित्सालय, आगरा
नई तैनाती: मुख्य चिकित्सा अधिकारी, कुशीनगर
आदेश की मुख्य बातें
सभी चिकित्साधिकारियों को तत्काल अपने-अपने नए पदों पर कार्यभार संभालने के लिए कहा गया है।
यह भी निर्देश दिया गया है कि अधिकारी स्वयं कार्यमुक्त होकर नई तैनाती वाले जिले में कार्यभार ग्रहण करेंगे और इसकी सूचना शासन को देंगे।
शासन ने स्पष्ट किया है कि स्वास्थ्य सेवाओं में किसी भी प्रकार की रुकावट न आए, इसके लिए आदेश का पालन अनिवार्य है।
क्यों ज़रूरी है यह बदलाव?
उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत और लोगों तक समय पर पहुँचाना एक बड़ी चुनौती है। इसीलिए समय-समय पर अधिकारियों का स्थानांतरण किया जाता है ताकि नई ऊर्जा और अनुभव के साथ सेवाओं में सुधार लाया जा सके।
प्रशासनिक दक्षता: लंबे समय से एक ही स्थान पर कार्यरत अधिकारियों को नए जिलों में भेजकर प्रशासनिक पारदर्शिता सुनिश्चित करना।
स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार: नए अधिकारियों की कार्यशैली और अनुभव से जिलों की स्वास्थ्य सेवाओं को गति देना।
निष्पक्षता और पारदर्शिता: एक ही जिले में लंबे समय तक टिके रहने से उत्पन्न होने वाले प्रभाव को रोकना।
जिलों पर असर
इन तबादलों से सीधे तौर पर उन जिलों में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता प्रभावित होगी जहाँ नए मुख्य चिकित्सा अधिकारी पदभार संभालेंगे।
मथुरा: डॉ. गंधा वल्लभ के अनुभव से स्वास्थ्य सेवाओं को नई दिशा मिलेगी।
हरदोई: यहाँ डॉ. भवानीनाथ पाण्डेय को भेजा गया है, जो पहले बड़े अस्पतालों का प्रबंधन कर चुके हैं।
रामपुर और एटा: इन जिलों में नए मुख्य चिकित्सा अधिकारियों से स्वास्थ्य सेवाओं में तेजी आने की उम्मीद है।
आजमगढ़ और कुशीनगर: दोनों बड़े जिलों में नई नियुक्तियों से स्वास्थ्य ढांचे को और मज़बूती मिलेगी।
सरकार का उद्देश्य
उत्तर प्रदेश सरकार का उद्देश्य स्पष्ट है – हर जिले में स्वास्थ्य सेवाएं सुचारु और पारदर्शी हों। इस प्रकार के तबादले:
भ्रष्टाचार और पक्षपात पर रोक लगाते हैं।
प्रशासनिक कार्यकुशलता बढ़ाते हैं।
मरीजों को समय पर और गुणवत्तापूर्ण इलाज सुनिश्चित करते हैं।
उत्तर प्रदेश सरकार का यह कदम स्वास्थ्य विभाग में पारदर्शिता और दक्षता लाने की दिशा में बेहद महत्वपूर्ण है। जिन चिकित्साधिकारियों को नई जिम्मेदारियाँ दी गई हैं, उनके अनुभव और कार्यशैली से स्वास्थ्य सेवाओं को लाभ मिलेगा।
अब देखना यह होगा कि ये अधिकारी अपनी नई जिम्मेदारियों को कितनी कुशलता से निभाते हैं और जनता को इसका कितना लाभ मिलता है।