AIN NEWS 1 विकास दिव्यकीर्ति: राजेंद्र नगर के एक कोचिंग सेंटर में हुए त्रासद हादसे के बाद, जहां तीन यूपीएसी स्टूडेंट्स की मौत हो गई थी, दृष्टि आईएएस के संस्थापक विकास दिव्यकीर्ति ने पहली बार अपनी प्रतिक्रिया दी है। इस घटनाक्रम पर उनकी चुप्पी पर उठ रहे सवालों के बीच, दिव्यकीर्ति ने देरी पर खेद जताया है और घटना के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की है।
नीचे पढ़िए उनका पूरा बयान:
1. देरी पर खेद: हमें खेद है कि हमने अपना पक्ष रखने में देरी की। हम नहीं चाहते थे कि अधूरी जानकारी के आधार पर कुछ कहें। इस देरी के लिए हम हृदय से क्षमाप्रार्थी हैं।
2. घटना पर संवेदना: 27 जुलाई को राजेंद्र नगर स्थित कोचिंग संस्थान की बेसमेंट में हुई घटना में तीन विद्यार्थियों – श्रेया, तान्या सोनी, और निविन डाल्विन की दर्दनाक मौत पर हम गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं। हम उनके परिवारों के साथ हैं और इस अपूरणीय क्षति को सहन करने की शक्ति की कामना करते हैं।
3. विद्यार्थियों का रोष न्यायसंगत : विद्यार्थियों में दिख रहा रोष पूरी तरह न्यायसंगत है। यह आवश्यक है कि इस रोष को उचित दिशा मिले और सरकार कोचिंग संस्थानों के लिए स्पष्ट दिशानिर्देश लागू करे। हम सरकार के साथ सक्रिय सहयोग के लिए तत्पर हैं।
4. कानूनी अस्पष्टता : कोचिंग संस्थानों से जुड़ी समस्याएं उतनी सरल नहीं हैं जितनी दिखाई देती हैं। कानूनों में अस्पष्टता और अंतर्विरोध की वजह से समस्याएं उत्पन्न होती हैं। डीडीए, एमसीडी, और दिल्ली फायर डिपार्टमेंट के नियमों में असंगति है। केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा नियुक्त समिति की रिपोर्ट आने पर इन बिंदुओं पर समाधान की उम्मीद है। टीम दृष्टि विद्यार्थियों की सुरक्षा को लेकर अत्यधिक सतर्क रहती है। हमारे पास ‘फायर एंड सेफ्टी ऑफिसर’ की विशेष नियुक्ति है जो नियमित रूप से सेफ्टी ऑडिट करते हैं। हर भवन में आपात स्थिति के लिए दो या अधिक रास्ते सुनिश्चित किए गए हैं।
6. नगर निगम की कार्रवाई : दिल्ली नगर निगम द्वारा हाल ही में की गई व्यापक कार्रवाई स्वागतयोग्य है।
7. स्थायी समाधान : इस समस्या का स्थायी समाधान यह है कि सरकार दिल्ली में कुछ विशेष क्षेत्रों को कोचिंग संस्थानों के लिए नियत करे। यदि सरकार खुद क्लासरूम्स, लाइब्रेरीज़, और होस्टल तैयार कराएगी, तो न किराए की समस्या रहेगी और न ही अन्य प्रावधानों की।
8. आगे का कदम : हम जल्दी ही इस विषय पर विस्तृत विश्लेषण (लेख या वीडियो) जारी करेंगे ताकि सभी हितधारक पूरी जानकारी प्राप्त कर सकें। हमें विश्वास है कि जब सारे पक्ष सामने आएंगे, तब समाधान की सही राह निकलेगी।
9. चूक के लिए खेद : यदि हमारी टीम से किसी भी प्रकार की चूक हुई है, तो हम पुनः खेद प्रकट करते हैं। अब हम विद्यार्थियों की सुरक्षा को लेकर और अधिक सतर्क रहने का वादा करते हैं।