Waqf Bill in Lok Sabha: Know Who Supports and Who Opposes
वक्फ बिल लोकसभा में: जानें कौन समर्थन में और कौन विरोध में?
AIN NEWS 1: लोकसभा में आज दोपहर 12 बजे वक्फ संशोधन विधेयक (Waqf Amendment Bill) पेश किया जाएगा। सरकार को इसे पारित कराने के लिए 272 सांसदों के समर्थन की जरूरत है, जबकि पहले से ही 294 सांसदों का समर्थन हासिल है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि कौन-सी पार्टियां सरकार के साथ हैं और कौन-सी इसके खिलाफ खड़ी हैं।
वक्फ बिल पर लोकसभा का गणित
लोकसभा में कुल 543 सांसद हैं, जिनमें से बहुमत के लिए 272 का समर्थन जरूरी होता है। वर्तमान में, एनडीए (NDA) गठबंधन के पास 294 सांसद हैं, जबकि विपक्षी गठबंधन इंडिया (INDIA) के पास 234 सांसद हैं। ऐसे में अगर वोटिंग होती है तो सरकार के लिए बिल पास कराना आसान होगा।
कौन-सी पार्टियां सरकार के साथ?
सरकार को भाजपा (BJP) के अलावा सहयोगी दलों का भी समर्थन मिला है। टीडीपी (TDP) और जेडीयू (JDU) ने बिल के पक्ष में मतदान करने की घोषणा की है। इन दलों ने अपने सभी सांसदों को लोकसभा में मौजूद रहने के लिए व्हिप जारी कर दिया है। इसके अलावा, छोटे दलों के कुछ अन्य सांसद भी सरकार के पक्ष में मतदान कर सकते हैं।
कौन-सी पार्टियां कर रही विरोध?
विपक्षी पार्टियां इस बिल का विरोध कर रही हैं। इनमें कांग्रेस (Congress), समाजवादी पार्टी (SP), राष्ट्रीय जनता दल (RJD), तृणमूल कांग्रेस (TMC), द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (DMK), वामदल (Left Parties), ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM), बीआरएस (BRS), बीजद (BJD) और एआईएडीएमके (AIADMK) शामिल हैं।
इन पार्टियों के सांसदों की कुल संख्या 234 है। हालांकि, यह भी संभावना जताई जा रही है कि कुछ विपक्षी दल, जो आमतौर पर न्यूट्रल रहते हैं, वोटिंग के दौरान सदन से गैर-हाजिर रह सकते हैं, जिससे सरकार को फायदा हो सकता है।
राज्यसभा में स्थिति कैसी है?
राज्यसभा में कुल 245 सीटें हैं, जिनमें अभी 236 सांसद मौजूद हैं। सरकार को बहुमत के लिए 119 सांसदों के समर्थन की जरूरत है। फिलहाल, सरकार के पास 121 सांसदों का समर्थन है, जिसमें 115 सांसद एनडीए के हैं और 6 सांसद नामांकित (nominated) सदस्य हैं।
भाजपा के पास 96 सांसद हैं, जबकि जेडीयू के 4 और टीडीपी के 2 सांसद हैं। अन्य छोटे दलों के भी कुछ सांसद सरकार के साथ हैं। ऐसे में राज्यसभा में भी सरकार के लिए बिल पास कराना संभव लग रहा है।
जेपीसी रिपोर्ट और विपक्ष की मांग
विपक्ष के विरोध के कारण इस बिल को पहले संयुक्त संसदीय समिति (JPC) को भेजा गया था। 13 मार्च को जेपीसी ने इस बिल पर 655 पेज की रिपोर्ट संसद में पेश की थी। इसके पहले, 19 फरवरी को कैबिनेट ने इस बिल को मंजूरी दी थी।
जेडीयू और टीडीपी ने बिल में तीन महत्वपूर्ण सुझाव दिए थे, जिन्हें सरकार ने स्वीकार कर लिया है। ये सुझाव इस प्रकार हैं:
1. कानून पिछली तारीख से लागू न हो।
2. पुरानी मस्जिदों, दरगाहों और धार्मिक स्थलों से छेड़छाड़ न की जाए।
3. जमीन से जुड़े मामलों में राज्यों की राय भी ली जाए।
क्या होगा वोटिंग का नतीजा?
लोकसभा में सरकार को पर्याप्त समर्थन मिला हुआ है, इसलिए यहां बिल आसानी से पास हो सकता है। लेकिन राज्यसभा में थोड़ी चुनौती हो सकती है। हालांकि, यदि कुछ विपक्षी दल वोटिंग में शामिल नहीं होते हैं, तो सरकार के लिए यह प्रक्रिया आसान हो जाएगी।
अब सभी की नजरें इस पर टिकी हैं कि क्या विपक्ष पूरी ताकत से इस बिल का विरोध करेगा या कुछ पार्टियां न्यूट्रल बनी रहेंगी। इस पर होने वाली चर्चा और वोटिंग के फैसले से साफ हो जाएगा कि वक्फ संशोधन विधेयक का भविष्य क्या होगा।
The Waqf Bill is set to be presented in the Lok Sabha today, with the government requiring 272 votes for its passage. With 294 MPs supporting the bill, including NDA allies like TDP and JDU, the government appears confident. However, opposition parties, including Congress, SP, RJD, TMC, DMK, Left parties, AIMIM, and others, strongly oppose it. The parliamentary numbers indicate that the bill is likely to pass in Lok Sabha, but the real test will be in Rajya Sabha. Stay updated on the latest developments in the Waqf Amendment Bill and the political battle surrounding it.