AIN NEWS 1: हिंदू नववर्ष विक्रम संवत 2082 के शुभ अवसर पर चैत्र नवरात्रि का पावन पर्व 30 मार्च 2025 से आरंभ हो रहा है। नौ दिनों तक मां दुर्गा के विभिन्न स्वरूपों की पूजा की जाती है। हर दिन माता के विशेष रूप की आराधना के साथ विशिष्ट रंग और भोग का भी महत्व होता है। इसके अलावा, हर देवी एक विशेष चक्र से जुड़ी होती हैं, जिससे उनकी ऊर्जा और प्रभाव को समझा जाता है।
आइए जानते हैं चैत्र नवरात्रि 2025 की तिथियां, देवी के स्वरूप, पूजन के शुभ रंग, चक्र और भोग की पूरी जानकारी।
नवरात्रि 2025 तिथियां, देवी के स्वरूप, रंग और भोग
1. प्रथमा तिथि (30 मार्च, सोमवार) – माता शैलपुत्री
रंग: लाल
भोग: देसी घी
चक्र: मूलाधार चक्र
2. द्वितीया तिथि (31 मार्च, मंगलवार) – माता ब्रह्मचारिणी
रंग: रॉयल ब्लू
भोग: शक्कर
चक्र: स्वाधिष्ठान चक्र
3. तृतीया तिथि (31 मार्च, मंगलवार) – माता चंद्रघंटा
रंग: पीला
भोग: दूध
चक्र: मणिपुर चक्र
4. चतुर्थी तिथि (1 अप्रैल, बुधवार) – माता कूष्माण्डा
रंग: हरा
भोग: मालपुआ
चक्र: अनाहत चक्र
5. पंचमी तिथि (2 अप्रैल, बृहस्पतिवार) – माता स्कंदमाता
रंग: ग्रे
भोग: केला
चक्र: विशुद्ध चक्र
6. षष्ठी तिथि (3 अप्रैल, शुक्रवार) – माता कात्यायनी
रंग: संतरी
भोग: शहद
चक्र: आज्ञा चक्र
7. सप्तमी तिथि (4 अप्रैल, शनिवार) – माता कालरात्रि
रंग: सफेद
भोग: गुड़
चक्र: भानु-पिंगला चक्र
8. अष्टमी तिथि (5 अप्रैल, रविवार) – माता महागौरी
रंग: गुलाबी
भोग: नारियल
चक्र: इड़ा-चंद्र चक्र
9. नवमी तिथि (6 अप्रैल, सोमवार) – माता सिद्धिदात्री
रंग: नीला
भोग: विभिन्न अनाज
चक्र: सहस्रार चक्र
नवरात्रि में रंगों और भोग का महत्व
हर दिन देवी के वस्त्रों का विशेष रंग होता है, जो उनकी ऊर्जा और शक्ति को दर्शाता है। भक्तगण इन रंगों को धारण कर माता का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं। साथ ही, माता को अर्पित किए जाने वाले भोग का भी विशेष महत्व होता है, जो आध्यात्मिक और स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है।
नवरात्रि और चक्र साधना
नवरात्रि में माता के स्वरूपों से जुड़े चक्रों की साधना करने से आत्मिक शुद्धि और सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है। मूलाधार चक्र से सहस्रार चक्र तक की साधना जीवन में स्थिरता, ज्ञान और आध्यात्मिक उन्नति प्रदान करती है।
चैत्र नवरात्रि 2025 एक आध्यात्मिक यात्रा है, जिसमें भक्तजन मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा कर शक्ति, ज्ञान और समृद्धि की प्राप्ति कर सकते हैं। देवी के प्रत्येक स्वरूप, रंग, भोग और चक्र का अपना विशेष महत्व है। इस नवरात्रि में श्रद्धा और भक्ति से माता की आराधना करें और उनका आशीर्वाद प्राप्त करें।
Chaitra Navratri 2025 marks the beginning of the Hindu New Year, Vikram Samvat 2082. This sacred festival spans nine days, honoring the nine divine forms of Goddess Durga. Each day, a specific Devi is worshipped with a dedicated color, offering (bhog), and is associated with a particular chakra. Devotees wear auspicious colors like red, yellow, blue, and white to seek blessings. The festival holds immense significance for spiritual growth and inner awakening. Knowing the Navratri 2025 Devi colors, bhog, and tithi can help devotees perform rituals with devotion. Celebrate Navratri with prayers, fasting, and traditional rituals to invite positivity and divine energy into your life.