अरब देशों में मूलभूत अधिकारों के लिए तरसीं महिलाएं
अरब देशों में महिलाओं की बेहद खराब स्थिति
महिलाओं को ‘सेक्स मशीन’ समझते हैं अरब मर्द
AIN NEWS 1: बता दें विकसित पश्चिमी देशों और विकासशील पूर्वी एशिया के मध्य मौजूद मिडिल ईस्ट यानी अरब देशों में महिलाओं की स्थिति आज भी दयनीय है। खाड़ी देशों का इलाका माने जाने वाले इस क्षेत्र में संयुक्त अरब अमीरात और सऊदी अरब जैसे संपन्न देश भी हैं। ये देश भले ही विदेशी पर्यटकों और निवेशकों को लुभाने के लिए महिलाओं से जुड़े नियमों में नरमी कर रहे हैं। लेकिन इनकी बड़ी महिला आबादी आज भी इंसाफ के लिए तरह रही है।
‘महिलाओं के लिए क्या कहता है अरब साहित्य!
”महिलाओं की आत्मा उनकी योनि में है’, एक अरबी ‘धर्मगुरु’ ने यह वाक्य उस शख्स से कहा जो अपनी पत्नी की शिकायत लेकर उसके पास आया था क्योंकि उसकी पत्नी ने उसके ‘प्रस्ताव’ को नकार दिया था। ये वाक्य साबित करता है कि अरब पुरुष महिलाओं को किस नजर से देखते हैं। पुरानी पुस्तकों में ऐसे कई वाक्य और मिसाल हैं जो बताते हैं कि मर्दों ने महिलाओं को सेक्स मशीन के अलावा कभी नहीं समझा।’
अरबी साहित्य ने महिलाओं को ‘सेक्स मशीन’ बताया
‘सेक्स और यौन संबंधों जैसे मुद्दों से जुड़ी पुरानी अरबी किताबों को पढ़ने से पता चलता है कि अरब मर्द स्त्रियों से कितना डरते हैं। डर की ये भावना पितृसत्तात्मक मूल्यों से आती है जो मर्द के प्रभुत्व का आह्वान करते हैं और इसे खतरे में डालने वाली किसी भी चीज़ से डरती हैं। पुराने अरबी साहित्य में अक्सर महिलाओं को निम्फोमेनिक, सेक्स के लिए बेताब के रूप में दिखाया जाता है।’
सऊदी अरब में महिलाओं की स्थिति
पिछले वर्ष सऊदी अरब से एक वीडियो सामने आया था जो काफी परेशान करने वाला था। इसमें पुरुषों का एक समूह कुछ लड़कियों और महिलाओं को उनके बालों से पकड़कर खींच रहा था और उन्हें पीट रहा था। वीडियो असिर प्रांत में स्थित खामिस मुशैत के एक अनाथालय का था। कुछ खबरों में कहा गया था कि इस तरह की जगहों पर महिलाओं के साथ ऐसा व्यवहार रोजमर्रा की बात है। इस वीडियो ने सऊदी क्राउन प्रिंस के ‘महिलाओं की स्थिति में सुधार’ के दावों की पोल खोल दी थी।