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AIN NEWS 1: मध्य पूर्व में तनाव एक बार फिर बढ़ गया है। अमेरिका ने ईरान के तीन प्रमुख परमाणु ठिकानों पर सीधा हमला किया है। यह हमले फोर्डो, नतांज और इस्फहान में स्थित परमाणु प्रतिष्ठानों पर किए गए। इस घटना की पुष्टि खुद अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने की है, जिन्होंने इसे ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर रोक लगाने की दिशा में एक निर्णायक कदम बताया है।
हमला क्यों हुआ?
ईरान लंबे समय से परमाणु कार्यक्रम को लेकर पश्चिमी देशों के निशाने पर है। अमेरिका और उसके सहयोगियों का मानना है कि ईरान गुपचुप तरीके से परमाणु हथियार बनाने की कोशिश कर रहा है। हाल के कुछ महीनों में ईरान और इज़राइल के बीच भी टकराव काफी तेज हुआ है। अमेरिका का कहना है कि उसने यह कार्रवाई अपने सहयोगी देशों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और क्षेत्र में परमाणु खतरे को कम करने के मकसद से की है।
कौन-कौन से ठिकाने निशाने पर थे?
1. फोर्डो परमाणु सुविधा – यह ईरान के पहाड़ी क्षेत्र में स्थित एक भूमिगत ठिकाना है, जो अत्याधुनिक यूरेनियम संवर्धन की तकनीक के लिए जाना जाता है।
2. नतांज परमाणु संयंत्र – यह ईरान का सबसे बड़ा और मुख्य परमाणु प्लांट माना जाता है, जहां पर बड़ी मात्रा में यूरेनियम संवर्धन किया जाता है।
3. इस्फहान संयंत्र – यहां पर यूरेनियम को गैस में बदला जाता है, जो बाद में संवर्धन प्रक्रिया में इस्तेमाल होता है।
अमेरिका की रणनीति क्या है?
डोनाल्ड ट्रम्प ने यह कार्रवाई ऐसे समय में की है जब वैश्विक स्तर पर ईरान के बढ़ते प्रभाव को लेकर चिंता जताई जा रही है। अमेरिका यह संकेत देना चाहता है कि अगर ईरान अंतरराष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन करेगा तो उसकी सैन्य ताकत का जवाब कड़ा और सीधा होगा।
ईरान की प्रतिक्रिया
ईरान की ओर से फिलहाल आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन स्थानीय मीडिया में जारी रिपोर्ट्स के अनुसार, इस हमले के बाद देशभर में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है और एयर डिफेंस सिस्टम को सक्रिय कर दिया गया है। यह भी माना जा रहा है कि ईरान इस कार्रवाई का जवाब दे सकता है, जिससे मध्य पूर्व में युद्ध जैसे हालात बन सकते हैं।
वैश्विक चिंता
संयुक्त राष्ट्र और कई अंतरराष्ट्रीय संस्थाएं इस मामले पर गंभीर नजर बनाए हुए हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि इस तरह की कार्रवाई से ईरान और अमेरिका के बीच सीधी लड़ाई की संभावना बढ़ सकती है। साथ ही इज़राइल और अन्य खाड़ी देशों की भूमिका भी अहम हो जाएगी।
In a bold move amid escalating tensions in the Middle East, America has conducted airstrikes on Iran’s key nuclear sites—Fordow, Natanz, and Isfahan. This strategic action, confirmed by former President Donald Trump, is seen as a major escalation in the ongoing US-Iran conflict and a strong message in the Iran-Israel war narrative. These nuclear facilities play a central role in Iran’s uranium enrichment program, and their targeting is likely to intensify regional instability.