AIN NEWS 1 नई दिल्ली : भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने मंगलवार को चक्रवाती तूफान मोचा (Cyclone Mocha Odisha) को लेकर एक नया अपडेट दिया है. IMD ने कहा है कि 6 मई के आसपास दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी के ऊपर से एक चक्रवात बनने और इसके परिणामस्वरूप अगले 48 घंटों में ही कम वायु दबाव का क्षेत्र विकसित होने की काफ़ी ज्यादा संभावना है. साल 2023 के पहले चक्रवाती तूफान के मई महीने में आने की पूरी आशंका जताई गई है.IMD के अनुसार 6 मई को बंगाल की खाड़ी के ऊपर से यह चक्रवात बनने की आशंका है. इसे लेकर IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्रा ने कहा, ‘कुछ प्रणालियों ने इसके एक चक्रवात होने का काफ़ी स्पष्ट पूर्वानुमान जताया है. इस पर हम नजर रख रहे हैं. नियमित रूप से यह अपडेट उपलब्ध कराया जाएगा.’ वहीं पूर्वानुमान के बाद से, ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने अधिकारियों से किसी भी घटना के लिए पूरी तरह से तैयार रहने को कहा है.
जाने पूर्वी भारत से लेकर बांग्लादेश और म्यांमार तक हो सकता है असर
दरअसल अंतरराष्ट्रीय मौसम वैज्ञानिकों ने मई के दूसरे सप्ताह में चक्रवात तूफान आने की काफ़ी अधिक आशंका जताई है. मौसम वैज्ञानिकों ने कहा है कि इस सप्ताह के अंत तक ही दक्षिण बंगाल की खाड़ी के ऊपर एक कम दबाव का क्षेत्र पूरी तरह से बन सकता है. वैज्ञानिकों ने कहा है कि कम दबाव के चक्रवाती तूफान का रूप लेने की आशंका काफ़ी प्रबल है. इस चक्रवात का असर पूर्वी भारत से लेकर बांग्लादेश और म्यांमार तक रहने के पूरे आसार हैं.
जाने इसका ‘मोचा’ नाम क्यों
अगर आधिकारिक तौर पर पुष्टि की जाती है तो विश्व मौसम विज्ञान संगठन (WMO) और एशिया और प्रशांत के लिए संयुक्त राष्ट्र के आर्थिक और सामाजिक आयोग (ESCAP) के सदस्य देशों की ओर से अपनाई जाने वाली नामकरण प्रणाली के तहत ही चक्रवात का नाम ‘मोचा’ (Mocha) होगा. यमन ने लाल सागर तट पर एक बंदरगाह शहर ‘मोचा’ के नाम पर ही इस चक्रवात के नाम का सुझाव दिया था. चक्रवात को लेकर IMD की भविष्यवाणी के बाद से ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने मंगलवार को अपनी एक उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता कर चक्रवात से निपटने के लिए पूरी तैयारियों की समीक्षा की और अधिकारियों से किसी भी स्थिति के लिए पूरी तरह से तैयार रहने को कहा.
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