1400 Kg Fake Paneer Made with Harmful Chemicals Seized in Noida, Factory Sealed
नोएडा में 1400 किलो नकली पनीर बरामद, केमिकल से बन रहा था घातक पनीर, फैक्ट्री सील
AIN NEWS 1 नोएडा। नोएडा पुलिस ने एक ऐसे नकली पनीर बनाने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया है जो केमिकल और हानिकारक रंगों की मदद से पनीर जैसा दिखने वाला घातक उत्पाद तैयार कर रहा था। पुलिस ने मौके से 1400 किलो नकली पनीर और उसे बनाने की सामग्री व मशीनें बरामद की हैं। इस मामले में चार लोगों को गिरफ्तार किया गया है जबकि मुख्य आरोपी का भाई फरार है।
कैसे चल रहा था नकली पनीर का कारोबार?
यह गिरोह पिछले 6 महीनों से इस अवैध कारोबार को अंजाम दे रहा था। आरोपियों ने अलीगढ़ के साहनपुरा गांव में एक चारदीवारी के भीतर नकली पनीर बनाने की फैक्टरी चला रखी थी। यहां पर महज़ 35 से 40 रुपये प्रति किलो की लागत में नकली पनीर बनाया जाता था और फिर इसे असली बताकर 180 से 220 रुपये प्रति किलो के हिसाब से दिल्ली-एनसीआर के बाजारों में बेचा जाता था।
कैसे पकड़ा गया मामला?
नोएडा के सेक्टर-63 में पुलिस को सूचना मिली कि नकली पनीर से भरा एक महिंद्रा पिकअप आने वाला है। पुलिस ने छापेमारी कर वाहन को रोका और उसमें सवार तीन लोगों – गुलफाम, नावेद और इकलाख – को गिरफ्तार कर लिया। वाहन की तलाशी लेने पर उसमें नीले रंग के प्लास्टिक ड्रम में 1400 किलो नकली पनीर बरामद हुआ। पूछताछ में पता चला कि यह माल अलीगढ़ की फैक्टरी से लाया गया था।
कैसे बनता था यह नकली पनीर?
मुख्य आरोपी गुड्डू ने खुलासा किया कि नकली पनीर बनाने के लिए निम्न सामग्री का उपयोग होता था:
सॉर्टिक्स क्लीन (एक सस्ता केमिकल)
पानी और रिफाइंड ऑयल
पोस्टर रंग (सफेद दिखाने के लिए)
केमिकल जो मिश्रण को फाड़ने का काम करता है
इस मिश्रण को गर्म कर कपड़ों में बांधा जाता और फिर ठंडे पानी में डालकर उसे पनीर का आकार दिया जाता। क्रीमी टेक्सचर देने के लिए रिफाइंड ऑयल मिलाया जाता था।
स्वास्थ्य के लिए खतरनाक
खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने बताया कि पनीर बनाने में इस्तेमाल की जाने वाली सामग्री बेहद खतरनाक है और इससे शरीर को गंभीर नुकसान हो सकता है। पनीर का नमूना जांच के लिए भेज दिया गया है, और रिपोर्ट आने के बाद और भी सख्त कार्रवाई की जाएगी।
फैक्टरी सील, मुख्य आरोपी फरार
पुलिस ने आरोपियों की निशानदेही पर अलीगढ़ स्थित फैक्टरी को सील कर दिया है। फैक्टरी से 25-25 किलो के पांच बोरे, रिफाइंड के डिब्बे, पेंटिंग रंग, मिक्सर ग्राइंडर और अन्य केमिकल्स बरामद किए गए। इस रैकेट का मुख्य संचालन गुड्डू और उसका भाई अफसर करते थे। अफसर अभी फरार है और पुलिस उसकी तलाश कर रही है।
हर आरोपी की अलग भूमिका
गिरफ्तार गुलफाम ने पुलिस को बताया कि सभी आरोपी एक ही गांव के हैं। गुड्डू और अफसर फैक्टरी का संचालन करते थे। गुलफाम दिल्ली-एनसीआर के बाजारों में सप्लाई का काम करता था। साथ ही वह नए मजदूरों को काम पर रखता ताकि उन्हें असली कारोबार की भनक न लग सके।
प्रशासन की अपील
प्रशासन ने आम जनता से अपील की है कि दूध और पनीर जैसे उत्पादों को खरीदते समय गुणवत्ता की जांच जरूर करें और संदिग्ध लगने पर तुरंत संबंधित अधिकारियों को सूचना दें।
यह मामला ना सिर्फ उपभोक्ताओं की सेहत के साथ खिलवाड़ है, बल्कि कानून का खुला उल्लंघन भी है। प्रशासन की सतर्कता से यह गिरोह पकड़ा गया, लेकिन इससे जुड़े बाकी लोगों की तलाश अब भी जारी है।
In a major crackdown on food adulteration, Noida police busted a fake paneer factory producing 1400 kilograms of chemical-laced adulterated cheese. The factory used harmful substances like paint color and refined oil to mimic real dairy products. This fake paneer was being sold across Delhi-NCR markets. Authorities have sealed the factory, arrested four individuals, and sent samples for food safety testing. The fake paneer racket poses a serious health hazard, highlighting the increasing issue of fake dairy products in India.