Strict Disciplinary Action Against UP Police Staff, DGP Issues Clear Instructions
उत्तर प्रदेश पुलिस में अनुशासनहीनता पर सख्ती: DGP के सख्त निर्देश, लापरवाह पुलिसकर्मियों पर होगी कार्रवाई
AIN NEWS 1: उत्तर प्रदेश में पुलिस विभाग में अनुशासनहीनता, लापरवाही और कर्तव्यों के प्रति उदासीनता को लेकर अब सख्त कार्रवाई की जाएगी। शासन के निर्देश के बाद पुलिस महानिदेशक (DGP) प्रशांत कुमार ने सभी जिलों के पुलिस प्रमुखों और पुलिस आयुक्तों को सख्त निर्देश जारी किए हैं।
अनुशासनहीनता और लापरवाही पर सख्ती
पुलिस विभाग में हाल ही में कुछ गंभीर घटनाएं सामने आई हैं, जैसे – कारतूसों की चोरी, असलहों की ठीक से देखरेख न होना, परेड में अधिकारियों की गैरहाजिरी और पुलिसकर्मियों के बीच समन्वय की कमी। इन घटनाओं को शासन ने गंभीरता से लेते हुए प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद ने DGP को इन मामलों में कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
DGP ने भी इस पर तुरंत संज्ञान लिया और सभी जिलों के अफसरों को कड़े निर्देश दिए हैं कि किसी भी तरह की अनुशासनहीनता को बर्दाश्त न किया जाए और दोषी पुलिसकर्मियों पर तुरंत सख्त कार्रवाई की जाए।
समन्वय की कमी बनी समस्या
DGP ने अपने पत्र में लिखा है कि अधिकारियों और कर्मचारियों के बीच समन्वय न होने की वजह से अनुशासनहीनता की घटनाएं बढ़ रही हैं। इसलिए वरिष्ठ अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि वे अपने अधीनस्थों के साथ बेहतर तालमेल बनाएं और विभागीय अनुशासन को मजबूत करें।
परेड में अनिवार्य रूप से हो उपस्थिति
प्रमुख सचिव गृह ने आदेश दिया है कि सभी पुलिसकर्मी – चाहे वे किसी भी शाखा या जनपद में कार्यरत हों – शुक्रवार को होने वाली परेड में अनिवार्य रूप से भाग लें। बायोमेट्रिक उपस्थिति की व्यवस्था की जाए ताकि अनुपस्थित अधिकारियों और कर्मचारियों की पहचान हो सके। छुट्टी या VIP ड्यूटी को छोड़कर किसी को भी परेड से अनुपस्थित न रहने दिया जाए।
परेड के बाद सभी अधिकारी और सेनानायक पुलिस लाइन परिसर में साफ-सफाई, वाहन शाखा, बिजली-पानी, कल्याण केंद्र और आवासीय व्यवस्थाओं की जांच करेंगे।
हथियारों की नियमित जांच और देखरेख
DGP ने चिंता जताई कि समय पर कई बार हथियार ठीक से काम नहीं करते, जिससे आपात स्थिति में संकट उत्पन्न हो सकता है। उन्होंने निर्देश दिया है कि सभी हथियारों और कारतूसों का नियमित मिलान किया जाए और निरीक्षण के दौरान कोई शस्त्र खराब पाया जाए तो संबंधित कर्मी पर कार्रवाई की जाए।
ड्यूटी आवंटन में निष्पक्षता
पुलिस लाइन में ड्यूटी लगाने में भी पारदर्शिता बरतने के निर्देश दिए गए हैं। DGP ने कहा है कि यदि ड्यूटी आवंटन में पक्षपात किया जाता है तो इससे कर्मियों में निराशा और कुंठा उत्पन्न होती है, जिसका असर उनकी कार्यक्षमता पर पड़ता है। इसलिए सभी अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना होगा कि ड्यूटी निष्पक्ष रूप से लगाई जाए।
पुलिसकर्मियों के लिए मासिक सम्मेलन
DGP प्रशांत कुमार ने यह भी कहा कि हर जिले में पुलिस अधीक्षक और सेनानायक को प्रत्येक माह एक बार पुलिस कर्मचारियों के साथ सम्मेलन आयोजित करना चाहिए। वहीं, रेंज स्तर पर तीन माह में एक बार यह सम्मेलन अनिवार्य रूप से हो। इसका उद्देश्य है कि यदि किसी पुलिसकर्मी को कोई समस्या हो तो वह इसे सम्मेलन में सामने रख सके और समय रहते समाधान हो।
उत्तर प्रदेश पुलिस में अनुशासन को लेकर यह कदम बेहद महत्वपूर्ण है। जहां एक ओर इससे पुलिस विभाग में पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ेगी, वहीं दूसरी ओर इससे पुलिसकर्मियों का मनोबल भी ऊंचा होगा। DGP के इन निर्देशों के बाद अब यह सुनिश्चित किया जाएगा कि विभाग में अनुशासन का पालन हो, लापरवाही न हो और सभी अधिकारी-कर्मचारी अपने दायित्वों का पालन पूरी निष्ठा से करें।
The UP DGP has issued strict instructions for disciplinary action against police personnel involved in indiscipline and negligence. District officers and commissioners are told to ensure parade attendance, maintain proper weapon checks, and avoid favoritism in duty allocation. These steps aim to improve law and order, enhance discipline in the UP Police, and ensure better coordination among police staff across the state.