दिल्ली बार एसोसिएशन चुनाव: छह अदालतों में संपन्न, दो में अव्यवस्था के कारण रद्द?

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Delhi Bar Association Elections: Conducted in Six Courts, Canceled in Two Due to Irregularities

दिल्ली बार एसोसिएशन चुनाव: छह अदालतों में संपन्न, दो में अव्यवस्था के कारण रद्द

AIN NEWS 1: दिल्ली हाई कोर्ट और सभी जिला अदालतों में शुक्रवार को बार एसोसिएशन के चुनाव कराए गए। हालांकि, कड़कड़डूमा और साकेत अदालतों में चुनावी अनियमितताओं के चलते मतदान प्रक्रिया को रद्द कर दिया गया। इन अदालतों में बूथ कैप्चरिंग, फर्जी मतदान और अव्यवस्था के आरोप लगे, जिससे अधिवक्ताओं में आक्रोश फैल गया।

चुनाव का आयोजन और मतदान प्रक्रिया

सुबह 10 बजे के बाद मतदान प्रक्रिया शुरू हुई। दिल्ली उच्च न्यायालय के अलावा रोहिणी, द्वारका, तीस हजारी, पटियाला हाउस और राउज एवेन्यू अदालत में शांतिपूर्ण तरीके से मतदान संपन्न हुआ।

पहली बार सभी अदालतों में एक साथ चुनाव: यह पहली बार था जब दिल्ली की सभी अदालतों में एक ही दिन चुनाव कराए गए।

मतदान प्रक्रिया: कड़कड़डूमा में ईवीएम और साकेत में बैलेट पेपर से चुनाव हो रहे थे।

क्यों रद्द किए गए कड़कड़डूमा और साकेत के चुनाव?

चुनाव के दौरान कड़कड़डूमा और साकेत अदालतों में कई अनियमितताएं सामने आईं:

1. बूथ कैप्चरिंग: कुछ प्रत्याशियों और उनके समर्थकों ने मतदान केंद्रों पर कब्जा कर लिया।

2. फर्जी मतदान: महिला अधिवक्ताओं के प्रॉक्सिमिटी कार्ड का उपयोग कर पुरुष अधिवक्ताओं ने मतदान किया।

3. बैलेट पेपर फाड़े गए: साकेत अदालत में चुनाव के दौरान अव्यवस्था के बीच किसी ने बैलेट बॉक्स की पर्चियां फाड़ दीं।

4. उम्मीदवारों में आक्रोश: चुनाव रद्द होने के बाद उम्मीदवारों और अधिवक्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किया और नारेबाजी की।

सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम

अदालत परिसरों में किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया था।

कड़कड़डूमा कोर्ट के पास महाराजा सूरजमल मार्ग पर बैरिकेडिंग कर यातायात रोका गया।

मतदान करने वालों की स्कैनर से जांच की जा रही थी।

कोर्ट परिसरों के आसपास सुरक्षा बलों की तैनाती की गई थी।

अधिवक्ताओं की प्रतिक्रियाएं

बार एसोसिएशन चुनावों को लेकर अधिवक्ताओं की मिली-जुली प्रतिक्रियाएं आईं:

शांतिपूर्ण चुनाव वाले न्यायालयों में संतोष: सफलतापूर्वक संपन्न हुए चुनावों से अधिवक्ता खुश नजर आए।

रद्द हुए चुनावों पर नाराजगी: कड़कड़डूमा और साकेत अदालतों में मतदान रद्द होने से उम्मीदवारों और उनके समर्थकों में असंतोष फैल गया।

वोटिंग का आंकड़ा

रोहिणी कोर्ट: 4092 मतदाताओं में से 3768 ने मतदान किया।

राउज एवेन्यू कोर्ट: 2000 में से 1400 मतदाताओं ने मतदान किया।

द्वारका कोर्ट: 3800 में से 3488 अधिवक्ताओं ने मतदान किया।

पटियाला हाउस कोर्ट: आठ पोलिंग बूथों पर 2000 से अधिक मतदान हुआ।

मतगणना और परिणाम

शाम को मतगणना शुरू हो गई थी, और देर रात तक चुनाव परिणाम घोषित होने की संभावना थी। उम्मीदवारों ने पहले से ही ढोल-नगाड़े और फूलमालाओं की व्यवस्था कर रखी थी, ताकि जीत का जश्न मनाया जा सके।

दिल्ली बार काउंसिल के आदेश की अनदेखी

दिल्ली बार काउंसिल (BCD) ने सभी उम्मीदवारों को निर्देश दिया था कि वे सार्वजनिक स्थलों से अपने पोस्टर और बैनर हटा लें।

मेट्रो पिलर, दीवारों और सार्वजनिक स्थानों पर चुनाव प्रचार के पोस्टर लगे रहे।

बार काउंसिल ने यह भी चेतावनी दी थी कि यदि पोस्टर-बैनर नहीं हटाए गए, तो उम्मीदवारों का लाइसेंस निलंबित किया जा सकता है।

इसके बावजूद, कई स्थानों पर प्रचार सामग्री यथावत लगी रही.

दिल्ली हाई कोर्ट और छह जिला अदालतों में सफलतापूर्वक बार एसोसिएशन के चुनाव संपन्न हुए, लेकिन कड़कड़डूमा और साकेत अदालतों में अनियमितताओं के कारण चुनाव रद्द कर दिए गए। इससे उम्मीदवारों और अधिवक्ताओं में नाराजगी फैल गई। अब चुनाव समिति इस मामले में दिल्ली हाई कोर्ट में शिकायत दर्ज कराएगी और आगे का फैसला उच्च न्यायालय के निर्देशानुसार होगा।

The Delhi Bar Association elections were successfully conducted in six courts, including the Delhi High Court, Rohini, Dwarka, Tis Hazari, Patiala House, and Rouse Avenue courts. However, elections in Karkardooma and Saket courts were canceled due to booth capturing and fake voting, causing unrest among lawyers and candidates. The Delhi Bar Council had earlier issued a notice regarding the removal of election posters, but many remained in public places. With strict security arrangements, polling was conducted smoothly in most courts. The vote counting process started in the evening, and results were expected late at night. The cancellation of elections in two courts has led to controversy, with lawyers demanding a fair re-election.

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