Ainnews1: नई दिल्ली. कई बार छोटी-मोटी राशि को लेकर हुए नुकसान को हम छोड़ देते हैं. तब हम यही सोचते हैं कि अरे छोड़ो, इतनी कम राशि है इसके लिए क्यों झंझट मोल लेना है. लेकिन वहीं कुछ लोग ऐसे भी होते हैं, जो अड़ जाते है आर्थिक नुकसान से ज्यादा नियम और अपने अधिकार के बारे में सोचते हैं. ऐसे ही एक शख्स ने 35 रुपये के लिए रेलवे से 5 साल की लंबी लड़ाई बेहद तरीके से लड़ी और आखिर में उसे जीत हासिल कर के दम लिया .राजस्थान के कोटा के रहने वाले इंजीनियर सुजीत स्वामी की इस लड़ाई से 2.98 लाख और लोगों को भी मिला है. इन सभी को अब रेलवे 2.43 करोड़ रुपये रिफंड करने पड़ेगे . इस लड़ाई में दिलचस्प यह भी रहा कि उन्हें 33 रुपये तो 2 साल में ही मिल गए, लेकिन 2 रुपये के लिए और 3 साल और लड़ना पड़ा.टिकट कैंसिलेशन पर काट लिया था जीएसटी मनीकंट्रोल की एक रिपोर्ट के मुताबिक बता दे , सुजीत स्वामी ने आईआरसीटीसी (Indian Railway Catering and Tourism Corporation) द्वारा दिए गए आरटीआई जवाब के हवाले से बताया है कि कि आईआरसीटीसी ने 2.98 लाख ग्राहकों को रिफंड में 2.43 करोड़ रुपये देने की मंजूरी दी है. दरअसल, स्वामी ने ये लड़ाई 7 अप्रैल, 2017 को स्वर्ण मंदिर मेल में कोटा से दिल्ली तक का टिकट बुक किया था तब . उन्हें 2 जुलाई को यात्रा करनी थी, लेकिन उनकी योजना बदल गई और उन्होंने टिकट कैंसिल करा लिया था . 1 जुलाई, 2017 से जीएसटी की नई व्यवस्था लागू हुई थी, लेकिन उन्होंने उससे पहले ही टिकट कैंसिल कर लिया था. टिकट 765 रुपये का था उन्हें 100 रुपये की कटौती के साथ 665 रुपये ही वापस मिले.2 रुपये के लिए 3 साल और लड़े सुजीत स्वामी के मुताबिक उन्होंने हार नहीं मानी , टिकट कैंसिलेशन चार्ज के रूप में 65 रुपये कटने चाहिए थे, लेकिन आईआरसीटीसी ने सर्विस टैक्स के रूप में 35 रुपये ज्यादा काट लिए जिसके लिये उन्होंने . यह लड़ाई सूचना का अधिकार कानून के तहत लड़ाई लड़ने की ठानी और 50 आरटीआई फाइल किए. साथ ही चार सरकारी विभागों को पत्र भी लिखा था . उनके आरटीआई के जवाब में आईआरसीटीसी ने कहा था कि उनके 35 रुपये वापस कर दिए जाएंगे और . उन्हें 1 मई, 2019 को 33 रुपये वापस मिल गए, लेकिन 2 रुपये की कटौती फिर हो गई जिसके लिये . इसके बाद उन्होंने अगले 3 साल तक 2 रुपये वापस लेने की लड़ाई लड़ी और ये 2 रुपये भी रेलवे से लेने में सफलता प्राप्त की .उन्होंने बताया कि पैसे की वापसी की मांग को लेकर उन्होंने बार-बार ट्वीट रेलवे क़ो किए. उन्होंने प्रधानमंत्री, रेल मंत्री, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, जीएसटी काउंसिल और वित्त मंत्रालय को भी टैग किया हर बार टैग किया आईआरटीसी ने उनके आरटीआई का अब जो जवाब दिया है उसमें कहा है कि 2.98 लाख उन यात्रियों को 35-35 रुपये वापस कर दिए जाएंगे जिनके इस प्रकार काटे गये ,
रेलवे से 35 रुपये के लिए 5 साल लड़ी लड़ाई, अब रेलवे को देने होंगे 2.5 करोड़ रुपये, दिलचस्प है पूरा मामला बताते चले
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